पाक के पूर्व राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी को इस केस में किया गया गिरफ्तार
पाकिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी को गिरफ्तार कर लिया गया है. पाकिस्तानी मीडिया के मुताबिक फेक बैंक अकाउंट केस में जरदारी को गिरफ्तार किया गया है.
highlights
- पाकिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति आसिफ अली गिरफ्तार
- फर्जी बैंक अकाउंट केस में उन्हें गिरफ्तार किया गया
- केस जल आपूर्ति ठेके को एक निजी कंपनी को देने से जुड़ा है.
नई दिल्ली:
पाकिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी (Asif Ali Zardari) को गिरफ्तार कर लिया गया है. पाकिस्तानी मीडिया के मुताबिक फेक बैंक अकाउंट केस में जरदारी को गिरफ्तार किया गया है. एनएबी(NAB) ने आसिफ अली जरदारी को गिरफ्तार किया है. पाकिस्तान की भ्रष्टाचार रोधी संस्था ने मंगलवार को पूर्व राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी को फर्जी खातों के मामले में 9 मई को समन किया था. लेकिन जब वो नहीं पहुंचे तो उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया.
Pak Media: NAB has arrested former Pakistan President Asif Ali Zardari in fake bank accounts case. (File pic) pic.twitter.com/zwI5Ci0sf3
— ANI (@ANI) June 10, 2019
राष्ट्रीय जवाबदेही ब्यूरो (एनएबी) अधिकारियों के 15 सदस्यीय दल ने पुलिस कर्मियों के साथ पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के सह अध्यक्ष को इस्लामाबाद के उनके आवास से गिरफ्तार किया
जियो न्यूज के अनुसार, नेशनल अकाउंटबिलिटी ब्यूरो (एनएबी) ने फर्जी खातों के मामले में एक अन्य संदर्भ तैयार किया है और पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के सह अध्यक्ष को पूछताछ के लिए समन भेजा था.
यह संदर्भ एक जल आपूर्ति ठेके को एक निजी कंपनी को देने से जुड़ा है.
रिपोर्ट में कहा गया कि एनएबी अधिकारियों का आरोप है कि हारिश व कंपनी को सिंध सरकार के स्पेशल इनीशिएटिव विभाग द्वारा जलापूर्ति का एक ठेका दिया गया, लेकिन इस परियोजना पर कोई कार्य नहीं किया गया.
इसमें आगे आरोप लगाया गया है कि इस राशि का इस्तेमाल जरदारी के निवास नुडेरो हाउस के खर्चो को पूरा करने के लिए किया गया.
एनएबी अधिकारियों ने कहा कि हारिश एंड कंपनी पार्क लेन एस्टेट की प्रमुख कंपनी थी, जिसके कारण राष्ट्रीय खजाने को 6 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ.
इसे भी पढ़ें: कठुआ मामले में सजा का ऐलान, 3 दोषियों को उम्रकैद, 3 को 5-5 साल की कैद की सजा
स्पेशल इनीशिएटिव विभाग के पूर्व सचिव एजाज अहमद खान व अन्य के खिलाफ भी एक संदर्भ दाखिल किया गया है.
जरदारी व उनकी बहन फरयाल तालपुर उन लोगों में शामिल हैं, जिनकी एक संयुक्त आयोग द्वारा जांच की जा रही है.इस आयोग में फेडरल इन्वेस्टीगेशन एजेंसी (एफआईए) व खुफिया सेवाओं के सदस्य शामिल है. यह जांच सर्वोच्च न्यायालय के आदेश पर हो रही है. इन लोगों पर कथित तौर पर कम से कम 29 फर्जी खातों के जरिए धनशोधन का आरोप है.
(इनपुट IANS के साथ)
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