logo-image

H-1B वीजा में मिली छूट को ख़त्म करेगा ट्रंप प्रशासन, जीवनसाथी को नहीं मिलेगा काम करने का मौका

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप एच-1 बी वीजाधारकों के पति या पत्नियों को मिले काम करने के अधिकारों को छीन सकती है, जिससे हजारों भारतीय कामगारों और उनके परिवारों को प्रभावित कर सकता है।

Updated on: 16 Dec 2017, 10:48 PM

highlights

  • एच-1 बी वीजाधारकों के पति या पत्नी अमेरिका में एच-4 डिपेंडेंट वीजा पर कार्य करने के योग्य हैं
  • इस साल जून तक 36,000 एच-4 वीजाधारकों को काम करने की अनुमति दी गई थी
  • ट्रंप के 'बाय अमेरिकन और हायर अमेरिकन' के आदेश को देखते हुए लाया जा रहा बदलाव

वाशिंगटन:

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप एच-1 बी वीजाधारकों के पति या पत्नियों को मिले काम करने के अधिकारों को छीन सकते है। यह अमेरिका में काम करने वाले हजारों भारतीय कामगारों और उनके परिवारों को प्रभावित कर सकता है।

ओबामा के साल 2015 में लागू किए गए इस नियम को ट्रंप प्रशासन खत्म कर सकता है।

2015 में ओबामा प्रशासन ने नियम लाया था कि अमेरिका की नागरिकता के लिए ग्रीन कार्ड का इंतजार कर रहे एच-1 बी वीजाधारकों के पति या पत्नी को जो एच-4 वीज़ा (डिपेंडेंट वीजा) के तहत रह रहें हों उन्हें काम करने की अनुमति दी गई थी। अब इस नियम को ट्रंप प्रशासन ख़त्म करने की योजना बना रहा है। 

नए नियम में अमेरिकी गृह सुरक्षा विभाग (डीएचएस) ने कहा, 'डीएचएस अपने एच-4 वीजा नियमों को हटाने की तैयारी कर रहा है, जिसमें एच-1 बी वीजाधारकों के पति- पत्नियों को अमेरिका में काम करने के लिए अनुमति दे दी गई थी।'

डीएचएस नोटिस के अनुसार, यह बदलाव राष्ट्रपति ट्रंप के इस साल जारी की गई 'बाय अमेरिकन एंड हायर अमेरिकन (अमेरिकन को नौकरी दें या हायर करें)' की नीति के तहत लाया जा रहा है।

साल 2016 में 41,000 से ज्यादा एच-4 वीजाधारकों को काम करने की अनुमति मिली थी। वहीं इस साल जून तक 36,000 एच-4 वीजाधारकों को काम करने की अनुमति दी गई।

और पढ़ें: अमेरिका ने पाक को चेताया, हक्कानी और आतंक का साथ नहीं छोड़ा तो देश का नियंत्रण खो देगा पाकिस्तान

एच-1 बी वीजा प्रोग्राम विदेशी प्रोफेशनल्स को अमेरिका में काम करने के लिए कुशल कामगारों को दिया जाता है। भारत और चीन से कई प्रोफेशनल्स इस वीजा का उपयोग करते हैं।

ओबामा कार्यकाल में लाई गई इस नीति को पहले से कानूनी चुनौती मिली हुई है। सेव जॉब्स यूएसए नाम के एक समूह ने अप्रैल 2015 में एक केस दायर किया था और कहा था यह नीति अमेरीकियों के रोजगार को प्रभावित कर रही है।

ट्रंप प्रशासन का 'अमेरिका फर्स्ट' की नीति के तहत एच-1 बी वीजा में बदलाव करने की तैयारी कई भारतीयों को प्रभावित करने वाली है, जिसमें कुल एच-1 बी वीजा भारतीयों में 70 प्रतिशत शामिल हैं।

और पढ़ें: डोनाल्ड ट्रंप ने कहा- एफबीआई को मेरा 100 फीसदी समर्थन