अब छात्रों को पढ़ाया जाएगा RSS का इतिहास
ये टॉपिक सैकेंड ईयर के सेमस्टर 4 के तीसरे यूनिट का पहला चैप्टर हैं. इससे पहले इसकी जगह पर छात्रों को 'राईज एन्ड ग्रोथ ऑफ कम्यूनलिज्म' यानि सांप्रदायिकता का उदय और वृद्धि पर चैप्टर पढ़ाया जाता था
नई दिल्ली:
देश के इतिहास के साथ-साथ अब छात्रों को आरएसएस का इतिहास भी पढ़ाया जाएगा. ऐसा इसलिए क्योंकि बीए सेकेंड ईयर के कोर्स में एक नया चैप्टर शामिल किया गया है जिसका नाम है 'राष्ट्र निर्माण में आरएसएस की भूमिका'.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक ये टॉपिक सैकेंड ईयर के सेमस्टर 4 के तीसरे यूनिट का पहला चैप्टर हैं. इससे पहले इसकी जगह पर छात्रों को 'राईज एन्ड ग्रोथ ऑफ कम्यूनलिज्म' यानि सांप्रदायिकता का उदय और वृद्धि पर चैप्टर पढ़ाया जाता था. लेकिन जानकारी के मुताबिक अब छात्रों को आरएसएस का इतिहास पढ़ाया जाएगा.
यह भी पढ़ें: लोकसभा चुनाव में इन कारणों से राहुल गांधी ने गंवाई थी अमेठी सीट, आज करेंगे समीक्षा
बता दें, इससे पहले ज्यादा से ज्यादा लोगों तक जुड़ने के लिए आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने ट्विटर पर एंट्री भी ली थी. पिछले कुछ समय से संघ लोगों से सीधे जुड़ने की कोशिश कर रहा है. ऐसे में मोहन भागवत का ट्विटर पर एंट्री लेना और अब छात्रों को आरएसएस का इतिहास ढ़ाया जाना इस दिशा में उठाए गए कदम के तौर पर देखा जा सकता है.
वहीं दूसरी तरफ कश्मीर घाटी में वीरान पड़े मंदिरों का जीर्णोद्धार और पुनरुद्धार करने से लेकर हिमालय में शाखाओं का विस्तार कर उसे नई ऊंचाइयों तक पहुंचाने तक राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) जम्मू और कश्मीर में अपने पांव पसारता दिख रहा है. विस्तार की योजनाओं के अलावा, आरएसएस का शीर्ष नेतृत्व राज्य में विधानसभा क्षेत्रों के नए परिसीमन का भी समर्थन करता है, जिससे कश्मीर से ज्यादा सीटें मिलने पर बाद में जम्मू क्षेत्र को ज्यादा फायदा होगा.
यह भी पढ़ें: दाऊद इब्राहिम की D कंपनी से भारत को खतरा, जल्द हो कार्रवाई, UNSC में बोला भारत
नई दिल्ली में आरएसएस के शीर्ष अधिकारियों ने कहा कि आतंकवाद से प्रभावित कश्मीर घाटी में कई ऐतिहासिक मंदिर वीरान पड़े हैं और अब हिंदू श्रद्धालुओं के लिए इनका जीर्णोद्धार और पुनरुद्धार होगा. ऐसे ही एक ऐतिहासिक खीर भवानी देवी के मंदिर में पिछले महीने वार्षिक त्योहार के मौके पर कश्मीरी पंडितों की भारी भीड़ एकत्रित हुई थी. इस अवसर पर राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने श्रीनगर से 25 किलोमीटर दूर स्थित मंदिर में कश्मीरी पंडितों के रुकने के लिए विशेष इंतजाम करने के निर्देश दिए थे.
Don't Miss
वीडियो
IPL 2024
मनोरंजन
-
Shah Rukh Khan Son: बेटे अबराम के साथ KKR को सपोर्ट करने पहुंचे शाहरुख, मैच से तस्वीरें वायरल
-
Rashmi Desai Fat-Shamed: फैट-शेमिंग करने वाले ट्रोलर्स को रश्मि देसाई ने दिया करारा जवाब, कही ये बातें
-
Sonam Kapoor Postpartum Weight Gain: प्रेगनेंसी के बाद सोनम कपूर का बढ़ गया 32 किलो वजन, फिट होने के लिए की इतनी मेहनत
धर्म-कर्म
-
Vikat Sanakashti Chaturthi 2024: विकट संकष्टी चतुर्थी व्रत कब? बस इस मूहूर्त में करें गणेश जी की पूजा, जानें डेट
-
Shukra Gochar 2024: शुक्र ने किया मेष राशि में गोचर, यहां जानें किस राशि वालों पर पड़ेगा क्या प्रभाव
-
Buddha Purnima 2024: कब है बुद्ध पूर्णिमा, वैशाख मास में कैसे मनाया जाएगा ये उत्सव
-
Shani Shash Rajyog 2024: 30 साल बाद आज शनि बना रहे हैं शश राजयोग, इन 3 राशियों की खुलेगी लॉटरी