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सुगर्वे नदी ग्रामीणों के लिए बना मौत का कुआं,छीन चुका है कई जिंदगियां

मधुबनी के पलार गांव स्थित सुगर्वे नदी किसान और ग्रामीणों के लिए मौत का कुआं बन गया है. इस मौत के कुएं ने अब तक चार जीवन को छीन लिया है.

Updated on: 26 Nov 2023, 01:06 PM

highlights

  • सुगर्वे नदी ग्रामीणों के लिए बन गया मौत का कुआं 
  • मौत के कुएं ने अब तक चार जीवन को लिया है छीन 
  • लोगों ने उग्र आंदोलन करने की दी चेतावनी 

Madhubani:

मधुबनी के पलार गांव स्थित सुगर्वे नदी किसान और ग्रामीणों के लिए मौत का कुआं बन गया है. इस मौत के कुएं ने अब तक चार जीवन को छीन लिया है, लेकिन मंत्री से लेकर प्रशासन सब तमाशहिन बन सब देख रहे हैं. तीन माह पूर्व पंद्रह वर्षीय विवेक भी स्लुइस गेट के पास डूब गया था, लेकिन अब तक मृतक के परिजनों को मुआवजा नहीं मिला है. जिसको लेकर ग्रामीणों में आक्रोश देखा जा रहा है. ग्रामीणों की माने तो सुगर्वे नदी पर बने अधूरे स्लुइस गेट की वजह से मौत हो रही है. 

उग्र आंदोलन करने की दी चेतावनी 

ग्रामीणों ने नदी के स्लुइस गेट के कार्यों को शीघ्र पूरा करने और मृतक के परिवार को जल्द मुआवजा देने की मांग की है. समाजसेवी ने कहा कि सुशासन बाबू की सरकार में चार लोगों की मौत सुगर्वे नदी में डूबने से हो चुकी हैं. इसके बावजूद सरकार और विभाग के द्वारा कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है. कुछ माह पहले विवेक की नदी में डूबने से मौत हो गयी, मृतक विवेक के परिजनों को मुआवजा नहीं मिला. उन्होंने कहा कि एक सप्ताह में पीड़ित को मुआवजा नहीं दिया गया तो उग्र आंदोलन करने के लिए हम बाध्य हैं. 

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लोगों की जिदगियां छीन रहा है स्लुइस गेट

सुगर्वे नदी पर बन रहे स्लूइस गेट निर्माण में भारी अनियमितता का आरोप लगाते हुए लोगों ने कहा कि यह मौत का कुंआ बन गया है. नदी में दर्जनों जगहों पर जानलेवा गड्ढा बना है. स्लुइस गेट निर्माण कार्य पूरा होने से पहले टूटने लगा है. नदी में बने ये मौत के कुएं लोगों की जिंदगियां छीन रही है. प्रशासन भी मुआवजे की घोषणा और केस दर्ज कर अपने कर्तव्यों की इतिश्री कर लेती है, लेकिन ऐसी घटना दोबारा ना घटे इसके लिए अब तक ना तो विभाग और ना ही प्रशासन के द्वारा कोई ठोस पहल की गई है. घर का चिराग बुझ जाने के कई माह बाद भी परिजनों का आंसू थमने का नाम नहीं ले रहा है. मृतक विवेक की मां और दादी का रो रो कर बुरा हाल है.