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आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने कहा, 'दूसरे की देशभक्ति नापने का अधिकार किसी को नहीं'

मध्य प्रदेश के आठ दिवसीय प्रवास पर आए भागवत ने पुस्तक 'भारत की खोज में मेरे पांच साल' का विमोचन करते हुए कहा, 'किसी को भी दूसरे की देशभक्ति को नापने का अधिकार नहीं है।

Updated on: 11 Feb 2017, 05:51 PM

नई दिल्ली:

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के सरसंघचालक मोहन भागवत ने शनिवार को कहा कि किसी को भी दूसरे व्यक्ति की देशभक्ति नापने का अधिकार नहीं है।

मध्य प्रदेश के आठ दिवसीय प्रवास पर आए भागवत ने यहां भारत भवन में पत्रकार विजय मनोहर तिवारी की पुस्तक 'भारत की खोज में मेरे पांच साल' का विमोचन करते हुए कहा, 'किसी को भी दूसरे की देशभक्ति को नापने का अधिकार नहीं है, मुझे भी नहीं है, जो अपने को इस देश का कर्ता-धर्ता माने उसे भी यह अधिकार नहीं है। कोई भी किसी की कितनी देशभक्ति है, उसे नाप नहीं सकता।'

भागवत के मध्य प्रदेश प्रवास का शनिवार पांचवां दिन है। इससे पहले उन्होंने मंगलवार को भोपाल में संघ के प्रमुख पदाधिकारियों के साथ बैठक की थी, बुधवार को बैतूल में हिंदू सम्मेलन और गुरुवार को होशंगाबाद के बनखेड़ी में भाउ साहब भुस्कुटे स्मृति लोक न्यास के रजत जयंती समारोह में हिस्सा लिया था।

चौथे दिन शुक्रवार को भोपाल में श्रम साधक सम्मेलन में उन्होंने हिस्सा लिया।

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