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सरकार से संतो की गुहार, 2019 चुनाव से पहले मंदिर नहीं बनवाया तो भगवान देगा सजा

धर्मादेश में शामिल हुए स्वामी रामभद्राचार्य ने कहा कि अब हालात काबू से बाहर हो रहे हैं और हमारा सब्र टूट रहा है. राम मंदिर या तो अध्यादेश के जरिए बन सकता है या फिर सौहार्दपूर्ण माहौल से बनाया जा सकता है.

Updated on: 04 Nov 2018, 04:20 PM

नई दिल्ली:

देशभर के साधु-संतों के साथ दिल्ली के तालकटोरा स्टेडियम में आयोजित दो दिवसीय धर्मादेश कार्यक्रम रविवार को खत्म हो गया. इस दौरान आध्यात्मिक गुरु श्री श्री रविशंकर ने भी शिरकत की, जहां राम मंदिर निर्माण के सवाल पर उन्होंने कहा कि वह हमेशा मंदिर बनाने के पक्ष में रहे हैं.

रविशंकर ने पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि वह आज भी सभी पक्षों के बीच सुलह की कोशिश चाहते हैं और संतों से बात करने के बाद ही इस मामले पर कोई टिप्पणी करना चाहेंगे. धर्मादेश में शामिल हुए स्वामी रामभद्राचार्य ने कहा कि अब हालात काबू से बाहर हो रहे हैं और हमारा सब्र टूट रहा है. राम मंदिर या तो अध्यादेश के जरिए बन सकता है या फिर सौहार्दपूर्ण माहौल से बनाया जा सकता है.

वहीं सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर सवाल उठाते हुए विश्व हिन्दू परिषद के कार्यकारी अध्यक्ष आलोक कुमार ने कहा कि फैसले में देरी करके अदालत अपने कर्तव्य का पालन नहीं कर रहा है.

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इस कार्यक्रम में एकजुट हुए संतों ने मांग की है कि अगर सरकार 2019 चुनाव से पहले राम मंदिर बनवाने में नाकाम रहती है तो भगवान उन्हें सजा देगा. कोई इसे लेकर गंभीर हो या नहीं लेकिन संत समाज मंदिर को लेकर गंभीर है.

गौरतलब है कि इस कार्यक्रम में देश भर से करीब 3 हजार संत दिल्ली के तालकटोरा स्टेडियम में जुटे हैं.

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बता दें कि बीते दिनों राम मंदिर न्यास के सदस्य रामविलास वेदांती ने कहा कि आपसी सहमति से दिसंबर में भी राम मंदिर का निर्माण शुरू होगा. उन्होंने कहा कि मुस्लिम चाहें तो लखनऊ में मस्जिद बना सकते हैं.