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छत्‍तीसगढ़ में बीजेपी ने अपनों को छोड़ गैरों पर लगाया दांव, कांग्रेस से आए 3 नेताओं को टिकट

गैरों पर करम अपनों पर सितम की राह पर चली पड़ी बीजेपी ने कांग्रेस छोड़ कर आए तीन नेताओं को टिकट दिया है. कैबिनेट मंत्री रही रामशिला साहू का टिकट काटकर उनकी दुर्ग ग्रामीण्‍ा से जागेश्वर साहू बीजेपी ने अपना उम्‍मीदवार बनाया है.

Updated on: 21 Oct 2018, 02:46 PM

रायपुर:

गैरों पर करम अपनों पर सितम की राह पर चली पड़ी बीजेपी ने कांग्रेस छोड़ कर आए तीन नेताओं को टिकट दिया है. कैबिनेट मंत्री रही रामशिला साहू का टिकट काटकर उनकी दुर्ग ग्रामीण्‍ा से जागेश्वर साहू बीजेपी ने अपना उम्‍मीदवार बनाया है. पाटन से विधायक रह चुके विजय बघेल की जगह झीरम हमले में दो गोली कहा चुके मोती राम साहू को बीजेपी ने चुनाव मैदान में उतारा है. इसके साथ ही हाल ही में कांग्रेस से भाजपा में शामिल हुए रामदयाल उइके को पाली तानाखार से टिकट दिया गया है.छत्तीसगढ़ में बीजेपी ने 13 नए चेहरों को मौका दिया है.

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चार सीटों पर दिखा परिवारवाद

कोरबा से बंशीलाल महतो के बेटे विकास महतो, चंद्रपुर में दिलीप सिंह जूदेव के बेटे युद्धवीर सिंह जूदेव के बाद उनकी पत्नी, लैलूंगा में संगीता सत्यानन्द राठिया के पति सत्यानन्द राठिया को बीजेपी ने मौका दिया है. वहीं,  तखतपुर में मनहरण लाल पाण्डेय की बेटी हर्षिता पाण्डेय को 25 साल बाद टिकट मिला है.

इन हारे हुए प्रत्‍याशियों पर दोबारा दांव

सामरी से हार चुके सिद्धनाथ पैकरा, लुंड्रा से हार चुके विजय नाथ सिंह, अंबिकापुर से अनुराग सिंह देव, लैलूंगा से सत्यानंद राठिया, रामपुर से ननकीराम कंवर , बिल्हा से धरमलाल कौशिक, मस्तूरी से डॉक्टर कृष्णमूर्ति बांधी , जांजगीर चांपा से नारायण चंदेल , रायपुर ग्रामीण से नंदे साहू, अभनपुर से चंद्रशेखर साहू, कोंडा गांव से लता उसेंडी और दंतेवाड़ा से भीमा मंडावी भी चुनाव हार गए थे.