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स्वामी विवेकानंद की कर्मभूमि से पीएम मोदी ने ममता बनर्जी की चुनौती का दिया जवाब

पीएम मोदी (Prime Minister Narendra Modi) ने कलकत्ता (Kolkata) के बेलूर मठ से नागरिकता संशोधन कानून (Citizenship Amendment Act-CAA) पर स्थिति साफ करने के कोशिश की है.

Updated on: 12 Jan 2020, 11:29 AM

highlights

  • पीएम मोदी ने कोलकाता के बेलूर मठ से नागरिकता संशोधन कानून पर स्थिति साफ करने के कोशिश की है.
  • इसी के साथ पीएम मोदी ने कहा कि विपक्ष सिर्फ भ्रम फैला रहा है लेकिन हमारा युवा वर्ग इस बात को समझ रहा है.
  • दूसरे देश का कोई भी व्यक्ति जो भारत की संस्कृति में आस्था रखता है वो भारत की नागरिकता ले सकता है.

बेलूर:

पीएम मोदी (Prime Minister Narendra Modi) ने कोलकाता (Kolkata) के बेलूर मठ से नागरिकता संशोधन कानून (Citizenship Amendment Act-CAA) पर स्थिति साफ करने के कोशिश की है. इसी के साथ पीएम मोदी ने कहा कि विपक्ष सिर्फ भ्रम फैला रहा है लेकिन हमारा युवा वर्ग इस बात को समझ रहा है और भ्रम को भी दूर करने का काम कर रहा है. पीएम मोदी का ये स्पीच इसलिए खास बन जाता है क्योंकि बीते दिन ही पश्चिम बंगाल (West Bengal) की सीएम ममता बनर्जी (CM Mamata Banergee) ने पीएम मोदी से सीएए के मु्द्दे को लेकर मुलाकात की थी. दरअसल, पीएम मोदी दो दिन के पश्चिम बंगाल के दौरे पर हैं.

रातोंं रात कोई नया कानून बना दिया है. दूसरे देश का कोई भी व्यक्ति जो भारत की संस्कृति में आस्था रखता है वो भारत की नागरिकता ले सकता है और सीएए इसी कानून में एक संशोधन है.

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पीएम मोदी ने कहा कि वो फिर एक बार दोहराना चाहेंगे कि सीएए नागरिकता देने के लिए है ना कि नागरिकता छीनने के लिए. बेलूर मठ में छात्रों को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि जो महात्मा गांधी कह कर गए हैं हम तो सिर्फ उसका पालन कर रहे हैं. पीएम मोदी ने कहा कि जो व्यक्ति भारत के संविधान को मानता है वो तय प्रक्रियाओं का पालन कर भारत की नागरिकता ले सकते हैं.

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पाकिस्तान पर लगाया निशाना
पीएम मोदी ने कहा कि नागरिकता संशोधन कानून लाने के बाद पाकिस्तान को अब पूरी दुनिया को ये समझाना होगा कि उसने 70 सालों तक पाकिस्तान के अंदर अल्प संख्यकों पर इतने अत्याचार क्यों किए कि उन्हें भारत में आकर शरण लेनी पड़ी.

आपकी जानकारी के लिए बता दें कि कांग्रेस सहित देश के ज्यादातर बड़ी विपक्षी पार्टियां सीएए का विरोध कर रहे हैं. कांग्रेस का कहना है कि बीजेपी सीएए यानी नागरिकता संशोधन कानून बनाकर संविधान के साथ खिलवाड़ कर रही है. जबकि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का कहना है कि सीएए को वापस लिया जाना चाहिए और वो अपने राज्य यानी पश्चिम बंगाल में नागरिकता संशोधन कानून को नहीं लागू करेंगी.