हिजबुल मुजाहिद्दीन में फूट के संकेत, मूसा के हुर्रियत नेताओं के सिर काटने वाले बयान से झाड़ा पल्ला
हिजबुल मुजाहिद्दी के प्रवक्ता सलीम हाशमी ने पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (पीओके) के मुजफ्फराबाद से एक बयान जारी कर कहा, 'संगठन का मूसा के बयान से कोई लेना-देना नहीं है और यह बयान स्वीकर नहीं किया जा सकता।'
highlights
- हिजबुल के प्रवक्ता सलीम हाशमी ने कहा- मूसा का बयान स्वीकार करने वाला नहीं
- आतंकी संगठन हिजबुल की शुरुआत 1989 में हुई, कश्मीर को पाकिस्तान में जोड़ने की करता रहा है वकालत
- जम्मू-कश्मीर के डीजीपी ने कहा- वायरल ऑडियो में आवाज मूसा की है
नई दिल्ली:
हिजबुल मुजाहिद्दीन ने शनिवार को खुद को अपने कमांडर जाकिर मूसा के उस बयान से अलग कर लिया जिसमें उसने हुर्रियत नेताओं के सिर काटकर लाल चौक पर टांगने की बात कही थी। हिजबुल के इस बयान के बाद इस संगठन में फूट के संकेत मिल रहे हैं जो 1989 से जम्मू-कश्मीर के पाकिस्तान में मिलाने की बात करते हुए लगातार आतंकी कार्रवाई कर रहा है।
हिजबुल मुजाहिद्दीन के प्रवक्ता सलीम हाशमी ने पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (पीओके) के मुजफ्फराबाद से एक बयान जारी कर कहा, 'संगठन का मूसा के बयान से कोई लेना-देना नहीं है और यह बयान स्वीकर नहीं किया जा सकता।'
दरअसल, आतंकवादी संगठन हिजबुल मुजाहिद्दीन के कमांडर जाकिर मूसा ने हुर्रियत नेताओं को चेताते हुए कहा था कि वे उनकी 'इस्लाम के लिए जंग' में हस्तक्षेप न करें, अन्यथा उनका 'सिर काटकर लाल चौक पर टांग देंगे'।
पांच मिनट और 40 सेकेंड का मूसा का यह ऑडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। इसमें उसे कहते सुना जा रहा है, 'मैं हुर्रियत के पाखंडी नेताओं को चेतावनी देता हूं। वे इस्लाम के लिए हमारी लड़ाई में दखल न दें. यदि वे ऐसा करते हैं तो हम उनके सिर काटकर लाल चौक पर टांग देंगे।'
मूसा के बयान को व्यक्तिगत बताते हुए सलीम ने चेतावनी दी कि 'कोई भी बयान जो भ्रांति पैदा करता है वह हमारे संघर्ष को खत्म कर सकता है।'
इस बीच जम्मू कश्मीर के डीजीपी एसपी वैद्य ने पीटीआई को बताया है कि पुलिस ने टेप का वॉयस टेस्ट किया है और पाया है कि सोशल मीडिया पर वायरल ऑडियो में मूसा की ही आवाज है।
यह भी पढ़ें: पुलिस ने फ़ैयाज़ की हत्या करने वाले आतंकियों के पोस्टर किए जारी, हिजबुल मुजाहिदीन से है संबंध
बता दें कि हिजबुल मुजाहिद्दीन की शुरुआत कश्मीर आतंक के साथ 1989 में ही हुई थी और यह संगठन स्थानीय युवाओं को खुद से जोड़कर हमेशा से पाकिस्तान में कश्मीर के शामिल किए जाने की बात करता रहा है।
इसी हफ्ते की शुरुआत में हुर्रियत नेताओं सईद अली शाह गिलानी, मीरवाइज उमर फारूख और यासिन मलिक ने यह कहा था कि कश्मीर के संघर्ष का आईएसआईएस, अल कायदा और ऐसे दूसरे संगठनों से कोई रिश्ता नहीं है।
यह भी पढ़ें: जब सचिन तेंदुलकर-नीता अंबानी की मौजूदगी में पोलार्ड के चेहरे पर हार्दिक पांड्या ने लगाया केक, देखिए वीडियो
Don't Miss
वीडियो
IPL 2024
-
MS Dhoni : धोनी के चक्कर में फैन ने कर लिया गर्लफ्रेंड से ब्रेकअप, कारण जाकर उड़ जाएंगे आपके होश
-
KKR vs DC Dream11 Prediction : कोलकाता और दिल्ली के मैच में ये हो सकती है ड्रीम11 टीम, इन्हें चुनें कप्तान
-
KKR vs DC Head to Head : कोलकाता और दिल्ली में होती है कांटे की टक्कर, हेड टू हेड आंकड़ों में देख लीजिए
मनोरंजन
धर्म-कर्म
-
Weekly Horoscope: इन राशियों के लिए शुभ नहीं है ये सप्ताह, एक साथ आ सकती हैं कई मुसीबतें
-
Mulank 1 Numerology 2024: क्या आपका मूलांक 1 है? जानें मई के महीने में कैसा रहेगा आपका करियर
-
May Property Purchase Muhurat: मई 2024 में संपत्ति खरीदने के ये हैं 7 शुभ मुहूर्त, आप भी नोट कर लें
-
Akshaya Tritiya 2024: अक्षय तृतीया के दिन करें तुलसी के ये उपाय, आर्थिक तंगी होगी दूर!