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SEBI कानून का उल्लंघन करने पर केतन पारेख को तीन साल की सजा

मुंबई में सिक्योरिटीज एंड एक्सचेंज बोर्ड ऑफ इंडिया (सेबी) की विशेष अदालत ने केतन पारेख और उसके रिश्तेदार कार्तिक पारेख को सेबी कानूनों का उल्लंघन करने पर 3 साल के जेल की सजा सुनाई है।

Updated on: 28 Feb 2018, 09:22 AM

मुंबई:

मुंबई की सिक्योरिटीज एंड एक्सचेंज बोर्ड ऑफ इंडिया (सेबी) की विशेष अदालत ने मंगलवार को पैन्थर फिनकैप और मैनेजमेंट सर्विसेस लिमिटेड के निदेशक केतन पारेख और उसके रिश्तेदार कार्तिक पारेख को सेबी कानूनों का उल्लंघन करने पर 3 साल जेल की सजा सुनाई है।

विवादित स्टॉक ब्रोकर केतन पारेख और कार्तिक पारेख को सेबी कानूनों का उल्लंघन करने पर जुर्माने की राशि नहीं भरने पर यह सजा सुनाई गई है।

विशेष जज वी सी बार्दे ने केतन पारेख और कार्तिक पारेख की कंपनी पर 10 लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया है। अदालत ने पारेख और उनकी कंपनी को जुर्माने की राशि नहीं भरने का दोषी पाया। हालांकि बाद में अदालत की तरफ से कार्तिक को जमानत मिल गई।

सेबी के अनुसार, शोन्ख टेक्नोलॉजीज इंटरनेशनल के शेयरों को खरीदने के दौरान इन्होंने सेबी कानूनों का उल्लंघन किया था, जिसके बाद न्यायिक प्रक्रिया शुरू हुई थी और सेबी के संबंधित अधिकारी ने उनकी कंपनी पर 6.50 लाख का जुर्माना लगाया था।

बाद में उन दोनों ने सेबी के फैसले को सिक्योरिटीज पुनर्विचार न्यायाधिकरण (एसएटी) में चुनौती दी लेकिन 2007 में उनकी इस अपील को रद्द कर दिया गया था।

फिर दोनों आरोपियों ने न्यायिक अधिकारी को डिमांड ड्राफ्ट (डीडी) के जरिये किस्तों में जुर्माने की राशि चुकाने को कहा लेकिन इसे खारिज कर दिया गया। बताया गया कि जुर्माने की राशि डीडी के जरिये भुगतान करने का प्रावधान नहीं है।

बाद में सेबी ने विशेष अदालत का रुख किया। आरोपियों ने विशेष अदालत से भी मामले में समझौता करने की कोशिश की लेकिन अदालत ने खारिज कर दिया था।

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