logo-image

ससुराल से निकली बहू की बारात! बेटी को प्रताड़ना की कैद से यूं दिलाई रिहाई...

झारखंड में ससुराल से बहू की बारात निकाली गई, वजह इतनी दर्दनाक थी कि आपकी आंखे भी भर आएगी. पढ़िए पूरी कहानी...

Updated on: 18 Oct 2023, 06:06 PM

नई दिल्ली:

ससुराल से पीहर लौट रही ये अनोखी बारात... आपने आज से पहले ऐसी तमाम बारातें देखी होंगी, जो बेटी के मायके से विदा होकर उसके ससुराल जाती हैं. मगर झारखंड के रांची में इससे ठीक उलट मंजर पेश आया, जब बड़े ही धूमधाम से बैंड-बाजा और आतिशबाजी के बीच, ससुराल से बहू की बारात निकलकर पीहर पहुंची. इस बारात की तस्दीकी करने वाले हर एक शख्स हैरत में था, सवाल था कि आखिर क्यों रीति रिवाजों से बिल्कुल अलहदा इस तरह की बारात निकाली जा रही है...

दरअसल ये पूरा मामला बीते 15 अक्टूबर का है, जब एक पिता पूरी तैयारी के साथ अपनी बेटी साक्षी को लेने उसके ससुराल पहुंचे. पिता के मुताबिक उनकी बेटी अपने ससुराल में बीते कुछ वक्त से, तमाम तरह के शोषण और गंभीर प्रताड़ना का शिकार हो रही थी. न सिर्फ इतना, बल्कि उसका पति जब-तब उसे घर से बाहर निकाल देता था, जिससे वो काफी परेशान हो रही थी. 

प्रताड़ना से मुक्ति के खातिर...

और तो और, शादी के करीब एक साल बाद साक्षी को मालूम हुआ कि, उसके पति ने पहले से ही दो शादियां कर रखी हैं. हालांकी बावजूद इसके साक्षी ने हर संभव प्रयास किया इस रिश्ते को बचाने का, मगर ससुराल वालों के शोषण के आगे वो हार गई, लिहाजा इस प्रताड़ना से मुक्ति के खातिर उसे ससुराल से विदाई लेनी पड़ी. 

इसके लिए रांची के कैलाश नगर कुम्हारटोली में रिहाइश साक्षी के पिता, प्रेम गुप्ता ने खास इंतजामात किए. उन्होंने बकायदा बैंड-बाजा, आतिशबाजी के साथ बेटी के ससुराल से पीहर के लिए बारात निकाली, जिसका एक वीडियो भी उन्होंने अपने फेसबुक अकाउंट पर पोस्ट किया.

मजबूरी में उठाया कदम...

पिता प्रेम गुप्ता का कहना है कि, बीते साल 2022 की 28 अप्रैल को उन्होंने अपनी बेटी की शादी, झारखंड बिजली वितरण निगम में सहायक अभियंता के पद पर कार्यरत सचिन कुमार से की. शादी के कुछ महीनों तक वो बिल्कुल ठीक था, मगर कुछ ही दिनों बाद वो ससुराल में प्रताड़ित की जाने लगी. लिहाजा मजबूर होकर उन्हें ये कमद उठाना पड़ा. 

फिलहाल साक्षी ने तलाक के लिए कोर्ट में केस फाइल कर दिया है. साथ ही लड़के ने गुजारा भत्ता देने की बात कबूल की है. जल्द ही तलाक पर कानूनी तौर पर मुहर लगने की उम्मीद जताई दा रही है.