logo-image

Karnataka New CM: खड़गे को मिली सीएम का नाम तय करने की जिम्मेदारी, CLP की बैठक में प्रस्ताव पास

Karnataka New CM: कर्नाटक विधानसभा चुनाव में मिली भारी जीत के बाद कांग्रेस में राज्य के अगले मुख्यमंत्री के चुनाव के लिए मंथन की प्रक्रिया शुरू हो गई है. इसको लेकर आज कांग्रेस विधायक दल (CLP) की मीटिंग खत्म हो गई है

Updated on: 14 May 2023, 09:07 PM

New Delhi:

Karnataka New CM: कर्नाटक विधानसभा चुनाव में मिली भारी जीत के बाद कांग्रेस में राज्य के अगले मुख्यमंत्री के चुनाव के लिए मंथन की प्रक्रिया शुरू हो गई है. इसको लेकर आज कांग्रेस विधायक दल (CLP) की मीटिंग खत्म हो गई है. कांग्रेस विधायक दल ने सर्वसम्मति से कांग्रेस विधायक दल के नेता के चयन को AICC अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के निर्णय पर छोड़ने का फैसला किया है. ऐसे में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे तय गरेंगे कि किसके सिर पर कर्नाटक का ताज सजता है. हालांकि मुख्यमंत्री की दौड़ में डीके शिवकुमार और सिद्धारमैया का नाम सबसे आगे हैं. माना जा रहा है कि पार्टी हाईकमान इन दो नेताओं के नामों में से किसी एक पर अपनी मुहर लगा सकती है. हालांकि सीएम पद के लिए संभावना सिद्धारमैया की अधिक लगाई जा रही हैं.

इस बीच कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि यह जनता की जीत है, कर्नाटक में जनता ने भाजपा को नकार दिया है. जनता ने मिलकर भारी बहुमत से कांग्रेस को जिताया है। कांग्रेस पार्टी को काफी समय बाद यह बहुमत मिला है. कर्नाटक के मुख्यमंत्री चुनने पर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने दिल्ली में कहा कि  हमारे समीक्षक बैंगलुरु गए हैं, वे शाम में वहां पहुंचेंगे. इसके बाद कांग्रेस विधायक दल (CLP) की मीटिंग होगी. बैठक के बाद आलाकमान निर्णय लेंगे. इससे पहले कर्नाटक कांग्रेस अध्यक्ष डी.के. शिवकुमार ने कहा कि कुछ लोग कहते हैं कि सिद्धारमैया के साथ मेरे मतभेद हैं लेकिन मैं साफ कर देना चाहता हूं कि हमारे बीच कोई मतभेद नहीं है. मैंने कई बार पार्टी के लिए कुर्बानी दी है और सिद्धारमैया जी के साथ खड़ा हुआ हूं। मैंने सिद्धारमैया को सहयोग दिया है.

वहीं चुनाव में हार के बाद कर्नाटक के निर्वतमान बसवराज बोम्मई ने कहा कि इसके 4-5 कारण हो सकते हैं जिसके लिए हमें ज़मीनी स्तर पर जाकर देखना होगा और अभी हम किसी भी निष्कर्श पर नहीं पहुंच सकते। हम इस पर विश्लेषण करेंगे... यह बात कुछ लोगों के दिमाग में है लेकिन हमने कभी हिंदुत्व पर नहीं लड़ा बल्कि हम डबल इंजन सरकार के विकास कार्यों पर लड़े. कांग्रेस के घोषणा पत्र ने ध्रुवीकरण करने की कोशिश की.