logo-image

अब सुदूर गांवों में भी फर्राटे से चलेगा इंटरनेट, सरकार ने बनाया खास प्लान

आधुनिक युग में इंटरनेट उतना ही जरूरी हो गया है, जितना खाना खाना. आज के जमाने में जहां इंटरनेट की स्पीड़ नहीं होती वहां व्यक्ति अपने आपको बाउंड समझता है. क्योंकि वह अपने कुछ भी काम बिना इंटरनेट के नहीं कर सकता.

Updated on: 31 May 2022, 08:12 PM

नई दिल्ली :

आधुनिक युग में इंटरनेट उतना ही जरूरी हो गया है, जितना खाना खाना. आज के जमाने में जहां इंटरनेट की स्पीड़ नहीं होती वहां व्यक्ति अपने आपको बाउंड समझता है. क्योंकि वह अपने कुछ भी काम बिना इंटरनेट के नहीं कर सकता. आपको बता दें कि कोविड के चलते कुछ लोग परमानेंट शहर छोड़कर गांव चले गए हैं. लेकिन वहां नेटवर्क के चलते इंटरनेट की स्पीड़ नहीं आती. समस्या को ध्यान में रखते हुए सरकार ने खास प्लान तैयार किया है. जिसके बाद दूर-दराज गांव में भी इंटरनेट की शानदार स्पीड़ आएगी. सरकार के प्लान से दूरदराज इलाकों में इंटरनेट की पहुंच तो होगी ही. साथ ही लोगों को हाईस्‍पीड इंटरनेट का लाभ भी मिल सकेगा.

यह भी पढ़ें : अब ये स्कीम दिलाएगी पैसों की टेंशन से मुक्ति, हर महीने मिलेंगे 3000 रुपये

आपको बता दें कि सरकार नेशलन हाईवे के साथ फाइबर ऑप्टिकल नेटवर्क को जोड़ना चाहती है, जिसका मतलब है कि हाईवे के साथ ही फाइबर ऑप्‍टिकल बिछाए जाएंगे. सरकार के इस कदम से वहां पर रहने वाले लोगों और शहर से वहां काम के लिए जाने वाले लोगों को बेहतर सुविधा मिलेगी. अधिकारियों के अनुसार, सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय अपने नए और पुराने हाईवे पर इंटरग्रेट्रेड पब्लिक यूटिलिटी कॉरिडोर बनाएगी, जिसका इस्‍तेमाल ऑप्टिकल फाइबर केबल (OFC) के ढांचे के निमार्ण में किया जाएगा.

इस ढांचे के निर्माण से टेलीकॉम ऑपरेटर्स को डाक फाइबर कनेक्‍शन मिलेगा और इससे वे दूरदराज के इलाकों में इंटरनेट कनेक्‍शन देनें में सक्षम होंगे. आपको बता दें कि बता दें कि डाक फाइबर ऑप्‍टिकल ऐसे ऑप्‍टिकल हैं, जिनका अभी तक इस्‍तेमाल नहीं हुआ है. अब टेलीकॉम कंपनिया डाक फाइबर लीज पर ले सकती है और इंटरनेट कनेक्टिविटी प्रोवाइड कर सकती हैं. जानकारी के मुताबिक सरकार का लक्ष्‍य 18000 किलोमीटर ओएफसी ढांचे का निर्माण करना है, जो पूरे देश को कवर करेगा. बताया जा रहा है कि 2025 तक पूरे देश में यह सुविधा मिलने लगेगी.