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Bihar Politics: स्टालिन के बयान पर सियासी घमासान जारी, पूर्व मंत्री नीरज कुमार ने बताया अंग्रेजों की औलाद

तमिलनाडु के मंत्री उदयनिधि स्टालिन के सनातन धर्म पर दिए बयान को लेकर सियासत जारी है. अब पूर्व मंत्री नीरज कुमार सिंह बबलू ने पलटवार करते हुए कहा कि ऐसे बयान देने की देश में होड़ मची हुई है.

Updated on: 06 Sep 2023, 12:59 PM

highlights

  • स्टालिन के बयान पर सियासी घमासान जारी
  • पूर्व मंत्री नीरज कुमार ने साधा निशाना
  • 'ये हिंदुस्तानी नहीं बल्कि अंग्रेजों की औलाद'
  • 'राहुल गांधी इस बयान को लेकर चुप क्यों है?'

Supaul:

तमिलनाडु के मंत्री उदयनिधि स्टालिन के सनातन धर्म पर दिए बयान को लेकर सियासत जारी है. अब पूर्व मंत्री नीरज कुमार सिंह बबलू ने पलटवार करते हुए कहा कि ऐसे बयान देने की देश में होड़ मची हुई है. ये सभी हिंदुस्तानी नहीं बल्कि अंग्रेजों की औलाद है. वहीं, नीरज कुमार ने राहुल गांधी पर भी निशाना साधा. उन्होंने कहा कि खुद को जनेऊ धारी ब्राह्मण कहने वाले राहुल गांधी चुप क्यों है? आपको बता दें कि सुपौल शहर के वार्ड 09 स्थित अपने आवास पर पूर्व मंत्री नीरज कुमार सिंह बबलू ने प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित किया.

'राहुल गांधी इस बयान को लेकर चुप क्यों है?'

दरअसल, तमिलनाडु के मंत्री उदयनिधि स्टालिन के 'सनातन धर्म को खत्म किए जाने' वाले बयान पर बीजेपी के कोटे से पूर्व मंत्री रहे छातापुर विधानसभा से विधायक नीरज कुमार सिंह बबलू ने जमकर जुबानी हमला किया है. सुपौल जिले में एक दिवसीय विधानसभा प्रवास पर पहुंचे नीरज कुमार सिंह बबलू ने कहा कि आज कल देश बयानबाजी को लेकर होड़ मची है कि हिन्दू धर्म के खिलाफ कौन कितना बयान देता है? उन्होंने उदयनिधि स्टालिन  को पॉकेट मार कहते हुए कहा कि अब कहां हैं राहुल गांधी, जो खुद को जनेऊ धारी ब्राह्मण कहते हैं, तो अब INDIA गठबंधन के इस नेता के खिलाफ क्यों नहीं बयान देते हैं. उन्होंने कहा कि वो ऐसे विवादित बयान देकर हिन्दू धर्म और सनातनी को बेइज्जत करने की कोशिश करते हैं तो आने वाले समय में जनता इसका गिन गिन कर हिसाब लेगी.

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स्टालिन के बयान पर सियासी घमासान जारी

आपको बता दें कि स्टालिन एक सितंबर को मार्क्सवादी पार्टी से जुड़ा संगठन तमिलनाडु प्रगतिशील लेखक और कलाकार संघ की ओर से चेन्नई के कामराजार एरिना में सनातन उन्मूलन सम्मेलन का आयोजन किया गया था. सम्मेलन में उदयनिधि स्टालिन ने भारत में सनातन धर्म का पालन करने वाले 80 प्रतिशत लोगों को ख़त्म करने का आह्वान किया था.