टमाटर की तरह कहीं प्याज भी ना निकाल दें आंसू, महंगाई से राहत देने के लिए केंद्र ने उठाए ये कदम
पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव और अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव से पहले केंद्र सरकार महंगाई को नियंत्रित करना चाह रही है. इसके लिए सरकार ने कई अहम कदम भी उठाए हैं. ताजा मामला प्याज पर 40 फीसदी निर्यात शुल्क लगाने का है.
highlights
- टमाटर के बाद प्याज की कीमत बढ़ने की आशंका
- मौजूदा समय में 30 से 40 रुपये किलो बिक रहा प्याज
- सरकार ने 40 फीसदी निर्यात शुल्क लगाया
नई दिल्ली:
टमाटर की बढ़ती कीमतों के बीच अब प्याज भी लोगों के आंसू निकालने की तैयारी में है. मार्केट में जहां टमाटर 100 रुपये किलो बिक रहा है. वहीं, प्याज के दाम में अचानक से उछाल देखने को मिला है. प्याज की कीमत 40- 50 रुपये किलोग्राम तक पहुंच गई है. प्याज के बढ़ते दामों के बीच केंद्र सरकार ने बड़ा ऐलान किया है. केंद्र ने प्याज निर्यात पर पाबंदियां लगाई है. सरकार ने प्याज के निर्यात पर 40 फीसदी निर्यात शुल्क लगा दिया है. केंद्र सरकार का यह फैसला घरेलू बाजार में प्याज की उपलब्धता सुनिश्चित करने और कीमतों पर नियंत्रण रखने के लिए लिया गया है. केंद्र सरकार ने शनिवार की शाम अधिसूचना जारी कर कहा कि 31 दिसंबर तक प्याज निर्यात पर 40 प्रतिशत शुल्क लागू रहेगी.
दरअसल, टमाटर के बाद प्याज भी रुलाने की तैयारी में है. बाजार में टमाटर के बाद अगर किसी सब्जी की कीमत बहुत तेजी से बढ़ रही है तो वह प्याज है. अगस्त महीने में प्याज की कीमतों में 25 से 30 फीसदी की बढ़ोतरी देखी गई है. वहीं, सिंतबर महीने में इसकी कीमत और अधिक होने की संभावना जताई जा रही थी. ऐसे में सरकार ने प्याज पर 40 फीसदी निर्यात शुल्क लागू कर लोगों को राहत देने का काम की है.
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चुनावों से पहले महंगाई कम करने पर सरकार का फोकस
बतातें चले कि साल के आखिरी में पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव होने हैं. इसके अलावा अगले साल अप्रैल में आम चुनाव है. केंद्र सरकार नहीं चाहती कि चुनावों से पहले लोगों को महंगाई का एक और झटका लगे. क्योंकि पिछले दिनों खुदरा महंगाई दर 15 महीने के सबसे उच्चतम स्तर पर पहुंच गई है. खाने-पीने के सामनों में भारी बढ़ोतरी दर्ज की गई है. टमाटर, सब्जियों, मसालों, चावल और गेहूं के भाव तेजी से बढ़ने लगे हैं. ऐसे में सरकार का यह कदम आम लोगों के लिए राहत भरा माना जा रहा है. कुछ दिन पहले ही गेंहू की बढ़ती कीमतों के बीच सरकार ने गेंहू के निर्यात पर भी पाबंदी लगा दी थी. जिसके बाद घरेलू बाजार में गेंहू के दाम स्थिर है.
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