पश्चिम बंगाल: क्या ममता बनर्जी की डूबती नैया पार कर पाएंगे प्रशांत किशोर?
आंध्र प्रदेश में जगनमोहन रेड्डी के बाद अब राजनीतिक रणनीतिकार प्रशात किशोर (Prashant Kishor) ममता बनर्जी (Mamata Banerjee) के लिए चुनावी रणनीति बनाएंगे.
नई दिल्ली:
आंध्र प्रदेश (Andhra Pradesh) में जगनमोहन रेड्डी (Jagan Mohan Reddy) के बाद अब राजनीतिक रणनीतिकार प्रशात किशोर (Prashant Kishor) ममता बनर्जी (Mamata Banerjee) के लिए चुनावी रणनीति बनाएंगे. सूत्रों के अनुसार, पिछले दिनों प्रशांत किशोर ने पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी से मुलाकात की थी. इस दौरान दोनों के बीच एक साथ काम पर सहमति बन गई है.
Sources: Political Strategist Prashant Kishor met West Bengal Chief Minister Mamata Banerjee and agreed to work with her pic.twitter.com/ss8qQfskJ0
— ANI (@ANI) June 6, 2019
बता दें कि देश में लोकसभा चुनाव के नतीजों के साथ ही आंध्र प्रदेश में विधानसभा चुनाव के नतीजे भी घोषित कर दिए गए. प्रदेश की सत्ता पर बैठे चंद्रबाबू नायडू की पार्टी तेलुगु देशम पार्टी को जगनमोहन रेड्डी की वाईएसआर कांग्रेस पार्टी ने बुरी तरह से हरा दिया. 175 विधानसभा सीटों वाले आंध्र प्रदेश में वाई.एस.आर. कांग्रेस पार्टी ने 151 सीटों पर जीत दर्ज कर पूर्ण बहुमत से अपनी सरकार बनाने जा रही है. अब जगनमोहन रेड्डी, आंध्र प्रदेश के नए मुख्यमंत्री होंगे. वाईएसआर कांग्रेस पार्टी की इस प्रचंड और ऐतिहासिक जीत में जगनमोहन रेड्डी के संघर्ष, जोश और जुनून के साथ-साथ देश के सबसे बड़े चुनाव रणनीतिकार प्रशांत किशोर का दिमाग भी शामिल है.
इसके बाद अब पीके (PK) ने ममता बनर्जी से हाथ मिला लिया है. सूत्रों का कहना है कि राजनीतिक रणनीतिकार प्रशांत किशोर एक महीने के बाद आधिकारिक तौर पर पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के साथ काम करना शुरू कर देंगे. प्रशांत किशोर किसी पार्टी के लिए बेहतर रणनीति बनाने में माहिर हैं.
Sources: Political Strategist Prashant Kishor to officially start working with West Bengal Chief Minister Mamata Banerjee after one month https://t.co/gcV1EjK3z1
— ANI (@ANI) June 6, 2019
आपको याद दिला दें कि बिहार विधानसभा चुनाव 2015 में भी प्रशांत किशोर ने नीतीश कुमार के मुख्य चुनावी रणनीतिकार के रूप में काम किया था. हालांकि 2017 उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के लिए काम कर रहे प्रशांत किशोर की रणनीतियों पर जनता का फैसला भारी पड़ गया. जिसके बाद प्रशांत किशोर ने अपने काम को बड़े पैमाने पर सीमित कर दिया था.
गुरजात में बीजेपी की जीत के बाद 2014 के लोकसभा चुनाव में प्रशांत किशोर ने बीजेपी के लिए काम किया था. इसके बाद उनकी डिमांड बढ़ गई है. पश्चिम बंगाल में भी अगले साल विधानसभा होने वाला है. प्रदेश में अपनी सत्ता बचाने के लिए ममता बनर्जी ने प्रशांत किशोर को हायर किया है.
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