असम: NRC का ड्राफ्ट जारी होने के बाद 40 लाख लोगों का भविष्य अधर में
NRC ड्राफ्ट में 2.89 करोड़ लोगों का नाम शामिल है जबकि असम में 3.29 करोड़ लोगों ने आवेदन दिया था।
नई दिल्ली:
असम में सोमवार को नैशनल रजिस्टर ऑफ सिटिजन (NRC) का फाइनल ड्राफ्ट जारी होने के बाद 40 लाख़ से ज्यादा लोगों का भविष्य अधर में लटक गया है। दरअसल इन लोगों का नाम ड्राफ्ट में नहीं है। केंद्र सरकार ने भी इन लोगों की नागरिकता को लेकर स्पष्ट रूप से कुछ नहीं कहा है।
बता दें कि NRC ड्राफ्ट में 2.89 करोड़ लोगों का नाम शामिल है जबकि असम में 3.29 करोड़ लोगों ने आवेदन दिया था। 40 लाख लोगों के नाम रजिस्टर में क्यों नहीं है, इसके कारणों को सार्वजनिक नहीं किया गया है। हालांकि चार श्रेणियां जरूर बताई गई हैं, जिनसे जुड़े लोगों के नाम शामिल नहीं किए गए।
वह है, 'D (संदिग्ध) वोटर्स, D वोटर्स के बच्चे व परिवार के लोग, जिनके मामले विदेशी न्यायाधिकरण में लंबित हैं और उनके बच्चे।'
NRC के राज्य समन्वयक प्रतीक हजेला ने 40 लाख आवेदकों के नाम न होने की वजह पूछे जाने पर कहा, 'हम कारणों को सार्वजनिक नहीं करने जा रहे हैं। इसकी जानकारी व्यक्तिगत रूप से दी जाएगी। वे एनआरसी सेवा केंद्रों पर जाकर भी कारणों के बारे में पता कर सकते हैं।'
पत्रकार वार्ता में भारत के रजिस्ट्रार जनरल शैलेश ने घोषणा की कि NRC में कुल 3,29,91,384 आवेदकों में से अंतिम मसौदे में शामिल किए जाने के लिए 2,89,83,677 लोगों को योग्य पाया गया है। इस दस्तावेज में 40.07 लाख आवेदकों को जगह नहीं मिली है। यह 'ऐतिहासिक दस्तावेज' असम का निवासी होने का प्रमाण पत्र होगा।
शैलेश ने कहा, 'यह भारत और असम के लिए ऐतिहासिक दिन है। आकार के लिहाज से यह एक अभूतपूर्व कवायद है। यह एक कानूनी प्रक्रिया है जिसे सुप्रीम कोर्ट की सीधी निगरानी में अंजाम दिया गया।'
उन्होंने स्पष्ट कहा कि चार श्रेणियों में आनेवाले लोगों को इसमें शामिल नहीं किया गया है क्योंकि उनकी पात्रता पर सुप्रीम कोर्ट ने रोक लगा रखी है। ज्यादा विवरण दिए बगैर उन्होंने कहा कि कुछ नाम थे जिन्हें पहले मसौदे में जगह मिली थी लेकिन अंतिम मसौदे में उन्हें जगह नहीं मिली, उन्हें व्यक्तिगत तौर पर खत भेजकर सूचित किया जाएगा।
यह पूछे जाने पर कि क्या कोई व्यक्ति जिसका नाम फाइनल ड्राफ्ट में है तो क्या दावों और आपत्तियों की प्रक्रिया पूरी होने के बाद अंतिम सूची से उसका नाम हटाया भी जा सकता है? भारतीय महापंजीयक ने इसका सकारात्मक जवाब दिया।
मसौदे में शामिल नहीं किए गए लोगों की स्थिति के बारे में पूछे जाने पर गृह मंत्रालय में संयुक्त सचिव (पूर्वोत्तर) सत्येंद्र गर्ग ने कहा, 'अभी हम उन्हें भारतीय या गैरभारतीय नहीं कह रहे हैं। अभी कोई कार्रवाई नहीं की जाएगी, क्योंकि दावों, आपत्तियों और सुधार की प्रक्रिया चलाई जाएगी।'
और पढ़ें- आपराधिक कानून (संशोधन) बिल 2018 लोसकभा में पारित, जानिए क्या है यह...
Don't Miss
वीडियो
IPL 2024
मनोरंजन
-
Kajol Workout Routine: 49 की उर्म में ऐसे इतनी फिट रहती हैं काजोल, शेयर किया अपना जिम रुटीन
-
Viral Photos: निसा देवगन के साथ पार्टी करते दिखे अक्षय कुमार के बेटे आरव, साथ तस्वीरें हुईं वायरल
-
Moushumi Chatterjee Birthday: आखिर क्यों करियर से पहले मौसमी चटर्जी ने लिया शादी करने का फैसला? 15 साल की उम्र में बनी बालिका वधु
धर्म-कर्म
-
Vikat Sanakashti Chaturthi 2024: विकट संकष्टी चतुर्थी व्रत कब? बस इस मूहूर्त में करें गणेश जी की पूजा, जानें डेट
-
Shukra Gochar 2024: शुक्र ने किया मेष राशि में गोचर, यहां जानें किस राशि वालों पर पड़ेगा क्या प्रभाव
-
Buddha Purnima 2024: कब है बुद्ध पूर्णिमा, वैशाख मास में कैसे मनाया जाएगा ये उत्सव
-
Shani Shash Rajyog 2024: 30 साल बाद आज शनि बना रहे हैं शश राजयोग, इन 3 राशियों की खुलेगी लॉटरी