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Diesel vehicles Price Hike: महंगे होंगे डीजल वाहन, केंद्र सरकार उठाने जा रही है ये बड़ा कदम

Diesel vehicles Price Hike: डीजल वाहनों को लेकर बड़ी खबर सामने आई है. अगर आप भी ऐसे वाहन खरीदने की तैयारी कर रहे हैं तो सावधान हो जाएं, क्योंकि जल्द ही इनकी कीमतों में खासा इजाफा हो सकता है.

Updated on: 12 Sep 2023, 06:44 PM

highlights

  • डीजल वाहनों को लेकर आई बड़ी खबर
  • केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने बताया महंगे होंगे वाहन
  • 10 फीसदी अतिरिक्त जीएसटी वसूलने की तैयारी

New Delhi:

Diesel vehicles Price Hike: आप भी कार खरीदने का मन बना रहे हैं और डीजल वाहन खरीदना चाहते हैं तो आपको जल्द ही फैसला लेना होगा. क्योंकि आने वाले दिनों में डीजल व्हीकल्स की कीमतों में अच्छा खासा इजाफा हो सकता है. केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने प्रदूषण से बचाव को देखते हुए डीजल वाहनों पर लगाम लगाने की तैयारी की है. ऐसे में जल्द ही डीजल वाहनों के दामों में बढ़ोतरी की जा सकती है. ये बढ़ोतरी जीएसटी रेट में इजाफा के जरिए करने की तैयारी है. 

10 प्रतिशत जीएसटी लेने की तैयारी
केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी का प्रस्ताव है कि डीजल वाहनों पर 10 फीसदी जीएसटी वसूला जाए. इसके पीछे मकसद डीजल वाहन के उत्पादन के प्रति कंपनियों को हतोत्साहित करना है. ऐसे में कम वाहन बनेंगे और बिक्री पर भी अंतर आएगा. इसका सीधा फायदा वायु प्रदूषण में कमी के रूप में देखने को मिलेगा. 

केंद्रीय मंत्री ने ये बात सियाम यानी सोसायटी ऑफ इंडियन ऑटोमोबाइल मैन्युफैक्चर्स के एक प्रोग्राम में कही. उन्होंने बताया कि अभी प्रस्ताव भेजा गया है. अगर इसे कैबिनेट की मंजूरी मिल गई तो जल्द ही ये नियम लागू कर दिया जाएगा. उन्होंने कहा कि ये प्रस्ताव वित्त मंत्री को सौंपा जाएगा, जिसके तहत डीजल वाहन बनाने वाले हर इंजन पर 10 फीसदी अतिरिक्त गुड्स एंड सर्विस टैक्स वसूला जाएगा. 

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ऑटो इंडस्ट्री खुद ले डीजल वाहन न बनाने का फैसला
परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि वायु प्रदूषण को कम करने के लिए सरकार की ओर से लगातार कदम उठाए जा रहे हैं. लेकिन जब तक ऑटो कंपनियां खुद से जिम्मेदारी नहीं लेंगी तब तक कोशिशें काफी नहीं होंगी. अब वक्त आ गया है कि डीजल वाहन बनाने वाली कंपनियों को खुद पहल करते हुए इनका प्रोडक्शन बंद करना होगा. 

9 वर्ष में डीजल वाहनों की संख्या में आई कमी
केंद्रीय मंत्री गडकरी ने ये भी कहा कि बीते 9 वर्षों में भारत में डीजल वाहनों की संख्या में कमी देखने को मिली है. हालांकि ये भी काफी नहीं है. 2014 से पहले देश में डीजल वाहनों की संक्या 33.5 फीसदी थी, जो घटकर 28 प्रतिशत रह गई है. 

अब स्वच्छ ईंधन का विकल्प अपनाना होगा
नितिन गडकरी ने ऑटोमोबाइल कंपनियों से भी अपील की है कि वे डीजल वाहनों की बजाय अब स्वच्छ ईंधन की ओर कनवर्ट हों. बता दें कि हाल में नितिन गडकरी में देश की पहली इथेनॉल से चलने वाली कार भी इंट्रोड्यूस की थी. जो ना सिर्फ वायु प्रदूषण को कम करेगी बल्कि पर्यावरण के लिए भी काफी सहायक साबित होगी. मौजूदा समय में देश में पेट्रोल और डीजल के अलावा सीएनजी और इलेक्ट्रिक वाहन प्रचलन में हैं.