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Ukraine-Russia War: रूस ने 9,861 सैनिकों की मौत कबूली, मारियुपोल में लाया तबाही

डेलीमेल ने प्रो-रूसी टैब्लॉयड कोम्सोमोल्स्काया प्रावदा (Komsomolskaya Pravda) की खबर का हवाला देते हुए बताया कि इस जंग में रूस के अब तक 9,861 सिपाही (Russian Soldiers) मारे जा चुके हैं.

Updated on: 22 Mar 2022, 11:54 AM

highlights

  • रूस ने युद्ध में बहुत सैनिक खोए
  • जंग पर रूसी पकड़ हुई मजबूत
  • मारियुपोल को पूरी तरह से तबाह कर देगा रूस

नई दिल्ली:

यूक्रेन पर हमले के बाद से रूसी सेना को बड़ा नुकसान हुआ है. एक रूसी टेब्लॉयड की खबर के मुताबिक, रूस इस ऑपरेशन में करीब 10 हजार सैनिकों को खो चुका है, तो 16 हजार से ज्यादा सैनिक युद्ध के मैदान में घायल भी हुए हैं. ये आंकड़े डेलीमेल ने जारी किये हैं. डेलीमेल ने एक रूसी टेब्लॉयड की खबर का हवाला दिया है, जिसे रूस सरकार के पक्ष में खबरें लिखने के लिए जाना जाता है. इन आंकड़ों को इसीलिए विश्वसनीय माना जा रहा है. डेलीमेल ने बताया कि खबर प्रकाशित होने के थोड़े समय बाद ही 'गायब' कर दी गई. माना जा रहा है कि ऐसा क्रेमलिन के आदेश पर किया गया. 

डेलीमेल ने प्रो-रूसी टैब्लॉयड कोम्सोमोल्स्काया प्रावदा (Komsomolskaya Pravda) की खबर का हवाला देते हुए बताया कि इस जंग में रूस के अब तक 9,861 सिपाही (Russian Soldiers) मारे जा चुके हैं. वहीं, 16,153 सैनिक घायल हुए हैं. ये आंकड़े रूस सरकार की तरफ से जारी किये गए आधिकारिक 498 मौतों के आंकड़ों से कई गुना अधिक हैं. इस भारी नुकसान की वजह से तेजी से बढ़ रहे रुस की रफ्तार धीमी पड़ गई है. हालांकि खबर प्रकाशित होने के तुरंत बाद वेबसाइट से हटा ली गई, लेकिन उसके आर्काइव्स अब भी इंटरनेट पर सुरक्षित बचे हुए हैं. ऐसे में माना जा रहा है कि ये हताहत हुए रूसी सैनिकों के बारे में आधिकारिक खबर है. इसके अलावा बताया गया है कि रूस अपने सैनिकों को एक साथ समूह में दफना रहा है और इसके लिए भारी मशीनों तक की मदद ली जा रही है.

रूस के पक्ष में झुक चुका है युद्ध का माहौल

ब्रिटिश खुफिया सूत्रों के हवाले से डेलीमेल ने ये भी बताया है कि उसने ब्रिटिश खुफिया रिपोर्ट देखी है, जिसमें बताया गया है कि रूसी सेना बहुत मजबूत तरीके से आगे बढ़ रही है. वो ड्रोन्स का बेहतरीन इस्तेमाल कर रही है और यूक्रेनी सैन्य ठिकानों को सटीक तरीके से निशाना बना रही है. रूसी सेना तुर्की में बने टीबी-2 ड्रोन्स का भी बेहतरीन इस्तेमाल कर रही है. जो यूक्रेनी सेना और उसके सैन्य साजो-सामान को बेहतरीन तरीके से बर्बाद कर रही है. इसकी मदद से रूस ने यूक्रेन के ग्राउंड-टू-एयर डिफेंस सिस्टम को भी तबाह कर दिया है. यही वजह है कि रूसी मिसाइलें अब सटीकता के साथ यूक्रेनी सैन्य ठिकानों को बर्बाद कर रही हैं.

किंझल हाइपरसोनिक मिसाइल से डरे पश्मिची देश

रूसी रॉकेट ने यूक्रेन में ऐसे ट्रेनिंग सेंटर को निशाना बनाया, जिसमें विदेशी लड़ाके ट्रेनिंग ले रहे थे. ये जगह एयरक्राफ्ट रिपेयरिंग सेंटर के तौर पर जानी जाती थी. लेकिन इस हमले में यूक्रेन में जमा हुए 35 लड़ाके मारे गए, जबकि 134 लड़ाके घायल हो गए. रूस अब तेजी से यूक्रेन के खास शहरों मारियुपोल, खार्कीव, सुमी और चेर्निहीव को निशाना बना रहा है, जिसकी वजह से रूस को लड़ाई में बहुत फायदा पहुंचा है. ब्रिटिश रक्षा विशेषज्ञों (UK defence analysts) ने रूस के किंझल हाइपरसोनिक मिसाइल (Kinzhal hypersonic missile) को लेकर भारी चिंता जताई है. उनका कहना है कि किंझल मिसाइल ने यूक्रेन के एयर डिफेंस सिस्टम को तोड़ दिया और सटीकता के साथ हमले को अंजाम दिया, जिसमें यूक्रेन को भारी नुकसान पहुंचा है.

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मारियुपोल को तबाह कर बाकियों के लिए उदाहरण बनाना चाहता है रूस

पश्चिमी खुफिया विशेषज्ञों ने रिपोर्ट में कहा है कि रुस अब मारियुपोल शहर को पूरी तरह से तबाह करने के बाद ही आगे बढ़ेगा. ये उन तमाम यूक्रेनी शहरों के लिए सबक की तरह होगा, ताकि कोई भी शहर रूसी सैनिकों का प्रतिरोध न करे. विशेषज्ञों ने बताया कि रुस ने जिस तरह से मारियुपोल में भोजन और पानी की सप्लाई काट दी है. आम नागरिकों को निशाना बनाया है. भारी हथियारों का इस्तेमाल किया है, वो इस बात की तरफ इशारा है कि वो सीरिया की तर्ज पर ही यूक्रेन के खिलाफ लड़ रहा है. जहां विद्रोहियों को नेस्तनाबूद करने से पहले उनकी सारी सप्लाई लाइन काट दी गई और लड़ाकों को खाने-पीने की चीजों तक के लिए संघर्ष करना पड़ा.