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Amitabh Bachchan KBC: इस शख्स को देना चाहते थे अमिताभ बच्चन फिल्म की पहली कमाई, KBC में किया खुलासा

इस बीच उन्होंने फिर शो के पिछले एपिसोड में अपनी जिंदगी से जुड़ा एक निजी किस्सा शेयर किया है, उन्होंने बताया है वो अपनी पहली फिल्म की कमाई किसको देना चाहते थे,

Updated on: 20 Sep 2023, 02:00 PM

नई दिल्ली:

बॉलीवुड के महानायक अमिताभ बच्चन (Amitabh Bachchan) आज एक बड़ा चेहरे हैं, उन्होंने कई  बेहतरीन फिल्में की हैं, साथ ही उनका शो कौन बनेगा करोड़पति (Kaun Banega Crorepati) हमेशा चर्चा में रहता है. इस दौरान अमिताभ अपने कंटेस्टेंट से खेल के साथ की बातें भी करते हैं. इस बीच उन्होंने फिर शो के पिछले एपिसोड में अपनी जिंदगी से जुड़ा एक निजी किस्सा शेयर किया है, उन्होंने बताया है वो अपनी पहली फिल्म की कमाई किसको देना चाहते थे, पहली फिल्म सात हिंदुस्तानी को लेकर बिग बी ने एक दिलचस्प किस्सा शेयर किया है. 

कंटेस्टेंट विवेक ने अमिताभ (Amitabh Bachchan) से पूछा कि उन्हें उनकी पहली फिल्म कब मिली, उन्होंने कहा कि हर कोई इसके बारे में सुनना पसंद करेगा. उस समय को याद करते हुए जब उन्हें अपनी पहली फिल्म सात हिंदुस्तानी मिली, अमिताभ ने शो में कहा, "हमको ये लगा कि इसे हमें जो भी मिलेगा, वो हम अपने मां-बाबूजी को दे दें. (मुझे लगा कि मैं इससे जो भी कमाऊं, मुझे दे देना चाहिए) यह मेरे माता-पिता के लिए है)." अमिताभ का जवाब सुनते ही  दर्शकों में मौजूद सभी लोगों ने जोरदार तालियां बजाईं.

कोलकाता में तलाशी नौकरी

सुपरस्टार ने आगे कहा, "मुझे एक जरिया मिल गया कि अपने मां-बाबूजी को बुला कर अपने पास रख लें, जो जिम्मेदारी उन्हें हमारे लिए जीवन भर दिया है हमें जिम्मेवारी को हम अपने कंधों पर रख कर आगे उनके लिए कर के दें."अमिताभ बच्चन कोलकाता में नौकरी की तलाश कर रहे थे, जब वह बंबई गए तो उनके दोस्त टीनू आनंद ने फिल्म निर्माता ख्वाजा अहमद अब्बास को उनका नाम सुझाया, जो अपनी फिल्म सात हिंदुस्तानी के लिए नए चेहरों की तलाश कर रहे थे.''  रिपोर्ट के अनुसार, ख्वाजा ने अमिताभ को तभी फाइनल किया जब उन्होंने अभिनेता के पिता, महान कवि हरिवंश राय बच्चन से बात की और आश्वस्त थे कि उन्होंने बेटे के सपनों का समर्थन किया है.

अमिताभ की पहली फिल्म 'सात हिंदुस्तानी' (Saat Hindustani) 1969 में सिनेमाघरों में रिलीज हुई थी और इसमें सात भारतीय क्रांतिकारियों की कहानी बताई गई थी, जो गोवा में पुर्तगाली शासन के खिलाफ उठे थे. अमिताभ ने एक कवि की भूमिका निभाई. उन्हें मोस्ट प्रॉमिसिंग न्यूकमर के लिए अपना पहला राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार मिला.