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पाकिस्तान भागकर गए खालिस्तानी नेता हैप्पी PHD की गोली मार कर हत्या

पंजाब से भागकर Pakistan में खुफिया एजेंसी (ISI) की शह पर रह रहे खालिस्तानी नेता हरमीत सिंह (Harmeet Singh) की गोली मार कर हत्या कर दी गई. हरमीत सिंह को हैप्पी PhD भी बुलाया जाता था.

Updated on: 28 Jan 2020, 11:21 AM

highlights

  • खालिस्तानी नेता हरमीत सिंह की गोली मार कर हत्या.
  • हरमीत सिंह का नाम हैप्पीPHD भी बुलाया जाता है. 
  • हरमीत सिंह पंजाब पुलिस की मोस्टवांटेड लिस्ट में भी शामिल है.

लाहौर:

पंजाब से भागकर Pakistan में खुफिया एजेंसी (ISI) की शह पर रह रहे खालिस्तानी नेता हरमीत सिंह (Harmeet Singh) की गोली मार कर हत्या कर दी गई. हरमीत सिंह को हैप्पी PhD भी बुलाया जाता था. बताया जा रहा है कि हैप्पी पीएचडी को लाहौर में एक गुरुद्वारे के पास गोली मार दी गई. सूत्रों के मुताबिक पाकिस्तान के ही कुछ स्थानीय गैंग ने इस बड़ी घटना को अंजाम दिया है. पुलिस सूत्रों के मुताबिक, ड्रग्स सप्लाई के पैसे के विवाद के बाद हरमीत सिंह उर्फ हैप्पी PhD की हत्या कर दी गई. जबकि सुरक्षा अधिकारियों का कहना है कि नशीले पदार्थों की तस्करी से उपजे वित्तीय विवाद को लेकर खालिस्तान लिबरेशन फोर्स (केएलएफ) के एक शीर्ष नेता हरमीत सिंह को एक स्थानीय गिरोह ने गोली मार दी है.

आधिकारियों के अनुसार वह खालिस्तान लिबरेशन फोर्स (केएलएफ) के प्रमुख हरमिंदर मिंटू के बाद प्रमुख के पद को संभाल रहा था. हरमिंदर मिंटू को पंजाब पुलिस ने साल 2014 में थाईलैंड से गिरफ्तार किया था. बाद में वह नाभा जेल से भाग निकला लेकिन दोबारा पकड़ा गया. इसके बाद साल 2018 में उसकी हार्ट अटैक से मौत हो गई. हरमीत सिंह अमृतसर के छेहरटा का रहने वाला था और डॉक्ट्रेट कर चुका था जिसके चलते उसे PhD भी बुलाया जाता था. पिछले दो दशक से वह पाकिस्तान में रह रहा था.

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इसी के साथ ही हरमीत सिंह पंजाब पुलिस की मोस्टवांटेड लिस्ट में भी शामिल है. उस पर अमृतसर में हैंड ग्रेनेड हमले की साजिश और पंजाब में आरएसएस (RSS) और शिवसेना नेताओं की हत्या का भी साजिश रचने के आरोप भी हैं. इसके अलावा वह पाकिस्तान में बैठकर भारत में ड्रग्स सप्लाई और खालिस्तान समर्थक आतंकियों के स्लीपर सेल और टेरर मॉड्यूल खड़े करने की भी साजिश पाकिस्तान में बैठकर पिछले कई सालों से रच रहा था. हालांकि इस पूरे मामले में अभी तक पंजाब पुलिस की तरफ से कोई भी ऑफिशियल कंफर्मेशन आना बाकी है.

आपकी जानकारी के मुताबिक, हरमीत सिंह PhD खुद को खालिस्तान लिबरेशन फोर्स का चीफ बताता था और आईएसआई के इशारे पर लगातार वो पिछले कई साल से पाकिस्तान में रह रहा था और पाकिस्तान में बैठकर ही पंजाब में अपने नेटवर्क के जरिये ड्रग्स की सप्लाई कर रहा था और आतंकियों के लिए टेरर मॉड्यूल और स्लीपर सेल खड़े कर रहा था.

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हरमीत सिंह की पाकिस्तान में हत्या होना उन खालिस्तानी आतंकियों के लिए खतरे की घंटी है, जो पंजाब से भागकर पाकिस्तान में ISI की शह पर पिछले कई सालों से भारत के खिलाफ आतंकी साजिश की प्लानिंग में लगे हैं और पाकिस्तान को अपना मददगार और हिमायती मानते हैं.