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चुनावी मौसम में यूपी में योजनाओं की झड़ी

सपा की ओर से मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने 15 दिनों में 75,000 करोड़ रुपये से अधिक की परियोजनाओं का उद्घाटन या शिलान्यास किया है।

Updated on: 25 Dec 2016, 11:36 PM

लखनऊ:

जल्द ही चुनावी महासमर में उतरने जा रहे राज्य उत्तर प्रदेश में योजनाओं की झड़ी लग गई है। इनमें आधारभूत ढांचा परियोजनाएं, सड़क निर्माण, रिवरफ्रंट परियोजनाएं, नई स्वास्थ्य देखभाल सुविधाएं, अस्पताल, पेंशन योजनाएं, निर्धन वरिष्ठ नागरिकों के लिए मुफ्त इलाज और नए कैंसर संस्थान आदि शामिल हैं।

राजनीतिक दृष्टि से महत्वपूर्ण इस राज्य में अगले साल के शुरू में विधानसभा चुनाव होने वाला है। इसलिए मतदाताओं को लुभाने के लिए केंद्र सरकार और राज्य सरकार द्वारा विकासात्मक और जन कल्याणकारी योजनाएं शुरू करने का श्रेय लेने की होड़ मची हुई है।

ऐसे में यह आश्चर्य की बात नहीं है कि मुख्यमंत्री अखिलेश यादव नई परियोजनाओं की घोषणाएं कर रहे हैं और निर्माणाधीन परियोजनाओं का उद्घाटन कर रहे हैं। उनका भी उद्घाटन करे दे रहे हैं जो अभी पूरी भी नहीं हुई हैं।

उधर, केंद्र सरकार ने भी अपने मंत्रियों को इस राज्य के लिए बड़ी परियोजनाओं की घोषणा कर चुनावी हवा भाजपा के पक्ष में करने को कहा है। साल 2014 के लोकसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को उप्र में 80 में 71 सीटें हासिल हुई थीं।

समाजवादी पार्टी (सपा) की ओर से 43 वर्षीय मुख्यमंत्री  ने 15 दिनों में 75,000 करोड़ रुपये से अधिक की परियोजनाओं का उद्घाटन या शिलान्यास किया है।

अखिलेश यादव ने हरी झंडी दिखाकर अभी भी निर्माणाधीन लखनऊ मेट्रो रेल लाइन पर ट्रायल रन की शुरुआत कर दी। कई कृषि-व्यापार परियोजनाओं और 50 सरकारी अस्पतालों का शिलान्यास किया।

राज्य के 27 लाख सरकारी कर्मचारियों के लिए सातवें वेतन आयोग की सिफारिशें लागू कीं, छात्रों के लिए मुफ्त लैपटॉप का वितरण हो ही रहा है, साथ ही सत्ता में वापसी होने पर लोगों को स्मार्ट फोन देने का वादा कर रहे हैं और 17 अति पिछड़ी जातियों को अनुसूचित जातियों की सूची में शामिल करने की अनुशंसा की है।