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उलेमाओं का सीएए विरोधी प्रदर्शनकारियों की रिहाई के लिए अल्टीमेटम

रामपुर के उलेमाओं ने नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) विरोधी प्रदर्शनकारियों को 29 जनवरी तक रिहा करने की मांग की है. उन्होंने कहा कि यदि ऐसा नहीं हुआ तो वे अगले दिन 30 जनवरी को अपने अगले कदम पर निर्णय लेंगे.

Updated on: 26 Jan 2020, 12:39 PM

highlights

  • उलेमाओं ने प्रदर्शनकारियों को 29 तक रिहा करने को कहा.
  • ऐसा नहीं होने पर 30 जनवरी को अगले कदम पर निर्णय लेंगे.
  • इसके बाद रामपुर जिला प्रशासन ने अलर्ट जारी किया.

लखनऊ:

रामपुर के उलेमाओं ने नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) विरोधी प्रदर्शनकारियों को 29 जनवरी तक रिहा करने की मांग की है. उन्होंने कहा कि यदि ऐसा नहीं हुआ तो वे अगले दिन 30 जनवरी को अपने अगले कदम पर निर्णय लेंगे. रामपुर जामा मस्जिद कमेटी के सचिव मुकर्रम इनायती ने कहा है कि सीएए विरोधी प्रदर्शन के दौरान 21 दिसंबर, 2019 को गिरफ्तार कर जेल भेजे गए निर्दोष प्रदर्शकारियों की रिहाई के लिए उनके परिवार से प्रतिदिन महिलाएं जामा मस्जिद में आकर पूछती हैं. हमने रामपुर जिला अधिकारी को ज्ञापन देकर सभी मौलानाओं को रिहा करने के लिए कहा है. अगर इन लोगों को जेल से रिहा नहीं किया गया तो संविधान के अंतर्गत प्रदर्शन किया जाएगा.

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डीएम से की भी मुलाकात
जामा मस्जिद कमेटी के सदस्यों ने इस संबंध में शनिवार को रामपुर के जिला अधिकारी आंजनेय कुमार सिंह से मुलाकात की. इसके बाद मुरादाबाद रेंज के पुलिस महानिरीक्षक रमित शर्मा ने रामपुर पहुंचकर स्थानीय प्रशासन तथा पुलिस अधिकारियों के साथ बैठक की. जिला अधिकारी ने कहा, 'हम पुलिस अधिकारियों के लगातार संपर्क में हैं और हमारी प्राथमिकता ऐसे प्रदर्शनकारियों को रिहा करने की है, जिनके खिलाफ अभी तक कोई सबूत नहीं मिला है. मुझे लगता है कि हम जल्द ही इसका समाधान निकाल लेंगे.'

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प्रशासन ने जारी किया अलर्ट
महिलाओं ने सीएए के खिलाफ जामा मस्जिद के अंदर प्रदर्शन शुरू किया था, लेकिन जिला प्रशासन ने आंदोलन को रोकते हुए कई प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार कर लिया. इस बीच मौलानाओं की चेतावनी के बाद रामपुर जिला प्रशासन ने अलर्ट जारी कर दिया है.