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कठुआ गैंगरेप-मर्डर केस : दोषियों ने ऐसी रची थी साजिश, पढ़ें पूरी खबर

कोर्ट ने 7 में से 6 आरोपियों को दोषी करार दिया, तीन आरोपियों को उम्र कैद की सजा सुनाई, तीन को 5-5 साल की सजा मिली

Updated on: 10 Jun 2019, 07:30 PM

highlights

  • सात में से छह आरोपी दोषी करार
  • तीन को उम्रकैद और तीन को पांच साल की कैद
  • आठ साल की बच्ची के साथ दोषियों ने किया था रेप

नई दिल्ली:

जम्मू-कश्मीर के कठुआ में आठ साल की बच्ची के साथ पिछले साल गैंगरेप के बाद हत्या कर दी गई थी. मामले की सुनवाई पठानकोट के अदालत में चल रही थी. कोर्ट ने 7 में से 6 आरोपियों को दोषी करार दिया. तीन आरोपियों को उम्र कैद की सजा सुनाई. वहीं तीन आरोपियों को 5-5 साल की सजा मिली. सातवें आरोपी विशाल मुख्य दोषी सांजी राम के बेटे को बरी कर दिया गया.

पवित्र स्थान पर नापाक साजिश

कठुआ के गांव रासना के आसपास अल्पसंख्यक बकरवाल समुदाय के कुछ परिवार आकर बस गए थे. मंदिर का सेवादार सांजीराम इन लोगों को गांव से हटाना चाहता था. उसी ने यह पूरी साजिश रची थी. राजस्व अधिकारी के पद से रिटायर सांजी राम पड़ोसी की 8 साल की बच्ची को रोज पशुओं को चराने के लिए जंगल जाते देखता था. हैवान के मन में पाप जाग गया और उसने अपने भतीजे को भी इस पाप में शामिल कर लिया.

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नशा देकर, बच्ची को जमकर पीटता था

10 जनवरी 2018 को सांजी राम के भतीजे ने बच्ची को जंगल से अगवा किया और जंगल के ही एक मंदिर में लेकर पहुंचा. कोर्ट में दाखि चार्जशीट के मुताबिक मंदिर के प्रार्थना कक्ष में ही यह बच्ची से रेप करता था. जिसके बाद उसने अपने दोस्त मन्नू को भी बच्ची से रेप का न्योता दिया. इसके बाद वह अपने चाचा को इस बात की खबर देता है. सांजीराम बेहोशी की दवा मंगवाकर मंदिर पहुंचता है. चाचा और भतीजा इस दौरान बच्ची को पीटते और रेप करते हैं. दाखिल चार्जशीट के मुताबिक बेहोशी की हालत में भी बच्ची के साथ कई बार रेप किया गया.

रेप करने के लिए मेरठ से विशाल जंगोत्रा को बुलाया

12 जनवरी को बच्ची के पिता ने हीरानगर थाने में अपनी बेटी के लापता होने की रिपोर्ट दर्ज कराई. जांच की जिम्मा विशेष पुलिस अधिकारी दीपक खजूरिया को दिया गया. इसकी टीम में एएसआई प्रवेश कुमार, सुरिंदर कुमार और हेड कॉन्टेबल तिलक राज भी शामिल थे. इस बीच सांजी का भतीजा मेरठ में अपने दोस्त विशाल जंगोत्रा को फोन करके बच्ची से रेप करने के लिए कठुआ बुलाया. 

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गला घोंटकर की हत्या

चार्ज शीट के मुताबिक जांच अधिकारी दीपक खजूरिया बच्ची का पता लगाने के बाद सांजी के भतीजे को ब्लैकमेल करने लगता है. जिसकी एवज में वह आरोपियों से डेढ़ लाख रुपए वसूल करता है. सांजी राम बेहोश पड़ी बच्ची की हत्या करने की बात कहता है. जिसके बाद जांच अधिकारी खजूरिया कहता है कि थोड़ी देर रुक जाओ मैं भी कुछ कर लूं ,रेप के बाद बच्ची की गला घोंटकर हत्या की जाती है. और उसके सिर को पत्थर से कुचला जाता है और लाश को जंगल में फेंक दिया जाता है.

चार दिन तक ड्रग्स देकर बेहोश रखा

15 पन्नों के आरोपपत्र के मुताबिक, पिछले साल 10 जनवरी को एक 8 साल की बच्ची को अगवा कर कठुआ जिले में एक गांव के मंदिर में बंधक बनाकर रखा गया. उसके साथ दुष्कर्म किया गया साथ ही मौत के घाट उतारने से पहले चार दिन कर उसे ड्रग्स देकर बेहोश रखा गया. मामले में हेड कॉन्स्टेबल तिलक राज और असिस्टेंट सब इन्सपेक्टर आनंद दत्ता को भी दोषी ठहराया गया है. इन पर मुख्य आरोपी सांझीराम से चार लाख रुपए लेने और अहम सबूत नष्ट करने का आरोप था. बच्ची का शव साल 2018 में 17 जनवरी को मिला था. वहीं पोस्टमार्टम में बच्ची से सामूहिक दुष्कर्म और हत्या की पुष्टि हुई है.