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दिल्ली जल गुणवत्ता विवाद : पासवान ने केजरीवाल के आरोपों को बताया ‘निराधार’

केजरीवाल द्वारा घोषित की गई 32 समितियों का अब तक गठन ना किए जाने पर पासवान ने हैरानी जतायी है.

Updated on: 21 Nov 2019, 06:49 PM

नई दिल्ली:

केन्द्रीय उपभोक्ता मामलों के मंत्री राम विलास पासवान ने दिल्ली के पानी की गुणवत्ता मामले में गुरुवार को अरविंद केजरीवाल पर निशाना साधते हुए कहा कि वह उनके खिलाफ ‘‘निराधार आरोप’’ लगा रहे हैं. उन्होंने दिल्ली के मुख्यमंत्री को चुनौती दी कि अगर राष्ट्रीय राजधानी में पानी 100 फीसदी शुद्ध है तो बीआईएस मानक को अनिवार्य करें. पासवान ने भारतीय मानक ब्यूरो (बीआईएस) पर सवाल उठाने के लिए भी केजरीवाल की आलोचना की. बीआईएस एक स्वायत्त निकाय है, जिसने विभिन्न उत्पादों और सेवाओं के लिए लगभग 25,000 गुणवत्ता मानक तय किए हैं. गौरतलब है कि भारतीय मानक ब्यूरो (बीआईएस) ने अपनी रिपोर्ट में बताया था कि दिल्ली से लिये गए पानी के सभी 11 नमूने जल की गुणवत्ता मापने वाले 19 मापदंडों पर खरे नहीं उतरे. इसमें कहा गया कि राष्ट्रीय राजधानी में पेयजल की गुणवत्ता देश में सबसे खराब है. इसके बाद से ही नेताओं के बीच वाकयुद्ध जारी है.

पासवान ने कहा कि बीआईएस और दिल्ली जल बोर्ड (डीजेबी) के तकनीकी अधिकारियों वाली एक समिति का जल्द गठन किया जाना चाहिए और इस महीने के अंत तक उसे राष्ट्रीय राजधानी के 70 जिलों और 140 वार्ड से पानी के नमूने लेने चाहिए. राजनीति से जुड़े किसी शख्स के समिति में ना होने की बात दोहराते हुए उन्होंने कहा कि पानी के नमूनों की जांच सरकार द्वारा मान्यता प्राप्त प्रयोगशाला में की जानी चाहिए और इसकी रिपोर्ट भी सार्वजनिक होनी चाहिए. केजरीवाल द्वारा घोषित की गई 32 समितियों का अब तक गठन ना किए जाने पर पासवान ने हैरानी जतायी और अपनी ओर से इन समितियों के लिए बीआईएस के 32 अधिकारियों के नाम की एक सूची जारी की.

केन्द्रीय मंत्री के अनुसार केजरीवाल इस मुद्दे को राजनीतिक रूप देने की कोशिश कर रहे उनकी पार्टी लोक जनशक्ति पार्टी (एलजेपी) नहीं, जो यहां चुनाव भी नहीं लड़ती. पासवान ने पत्रकारों से कहा, ‘‘ केजरीवाल एक गलती को छुपाने के लिए और कई गलतियां कर रहे हैं. वह मेरे खिलाफ निराधार आरोप लगा रहे हैं.’’ दिल्ली के मुख्यमंत्री को उनकी गलती स्वीकार करने और पूरी दिल्ली से पानी के नमूने लेने की बात पर जोर देते हुए पासवान ने कहा कि उपभोक्ता मामलों का मंत्री होने के नाते लोगों के हित की रक्षा करना उनका कर्तव्य है. आरोपों से नाराज पासवान ने कहा, ‘‘ मैं दूसरों के मामले में दखल नहीं देता. लेकिन अगर कोई मेरे मामलों में दखल देगा तो मैं चुप नहीं रहूंगा.’’

पानी का नमूना एलजेपी के सदस्य के घर से लिए जाने के आरोप पर पासवान ने पूछा कि क्या शुद्ध पानी की आपूर्ति केवल आप आदमी पार्टी के सदस्यों के घर की जाती है. केन्द्रीय मंत्री ने केजरीवाल को आधिकारिक बैठकों में दिल्ली जल बोर्ड के नल का पानी देने की चुनौती भी दी. उन्होंने पूछा कि दिल्ली जल बोर्ड का पानी शुद्ध है तो दिल्ली में लोग आरओ (विपरीत परासरण) क्यों लगा रह हैं? इससे पहले आज दिन में दिल्ली के पानी की गुणवत्ता के संबंध में गलत रिपोर्ट देने के मामले में आम आदमी पार्टी ने केन्द्रीय मंत्री राम विलास पासवान का इस्तीफा मांगा था. आप के वरिष्ठ नेता संजय सिंह ने पत्रकारों से कहा था कि पासवान से पूछे कि किसके भड़काने पर उन्होंने झूठ बोला और अपने आरोपों के जरिए दिल्ली को बदनाम किया. भाषा निहारिका पवनेश पवनेश