मोदी का तेजस्वी पर निशाना- उन पर महागठबंधन का विश्वास नहीं
बिहार में इस साल के आखिरी में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर सभी प्रमुख दलों ने अपनी रणनीति पर काम करना शुरू कर दिया है. चुनावी सुगबुहाट के बीच आरोप-प्रत्यारोप का भी दौर जारी है.
पटना:
बिहार में इस साल के आखिरी में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर सभी प्रमुख दलों ने अपनी रणनीति पर काम करना शुरू कर दिया है. सभी राजनीतिक दलों ने अपनी तैयारी शुरू कर दी है. जहां झारखंड में मिली हार के बाद राज्य में बीजेपी के सामने सत्ता बचाने की चुनौती तो वहीं पड़ौसी राज्य में गठबंधन की अभूतपूर्व सफलता से उत्साहित विपक्षी दल भी अभी से 'चुनावी मोड' में आ गए हैं. चुनावी सुगबुहाट के बीच आरोप-प्रत्यारोप का भी दौर जारी है. इसी कड़ी में बिहार के उपमुख्यमंत्री और बीजेपी के वरिष्ठ नेता सुशील कुमार मोदी ने प्रतिपक्ष के नेता तेजस्वी प्रसाद यादव पर बृहस्पतिवार को प्रहार करते हुए दावा किया कि राजद ने महागठबंधन के घटक दलों से राय लिए बिना विधानसभा चुनाव के लिए जिन्हें मुख्यमंत्री पद का प्रत्याशी घोषित किया है, उनपर इस घटक के किसी दल का विश्वास नहीं है.
यह भी पढ़ेंः जेम पोर्टल से अगले 3 महीने में 300 करोड़ रुपये की और खरीददारी होगी- मोदी
सुशील मोदी ने गुरुवार को ट्वीट कर कहा, 'राजद ने महागठबंधन के घटक दलों से राय लिए बिना 2020 में होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए जिन्हें मुख्यमंत्री पद का प्रत्याशी घोषित किया, उन पर किसी दल का विश्वास नहीं. वह पिछले 32 महीनों में विरोधी दल के नेता के रूप में कोई भरोसेमंद छवि नहीं बना सके.' उन्होंने तेजस्वी की ओर इशारा करते आरोप लगाया कि राजद के बड़े नेता चमकी बुखार और बाढ़ जैसी आपदा के समय जनता के बीच नहीं दिखे. सदन में जनहित का एक भी सवाल न पूछने वाले नेता केवल सोशल मीडिया पर सक्रिय रहे. ऐसे ‘ट्विटर ब्वाय’ के नेतृत्व में लोकसभा का चुनाव लड़ने पर विपक्षी पार्टी जीरो पर आ गई. अब उन्हें नेता मानने से कांग्रेस ने भी इनकार कर दिया है.
यह भी पढ़ेंः दरभंगा एम्स की स्थापना का रास्ता साफ, साल के अंत तक काम शुरू होने की उम्मीद
मोदी ने आरोप लगाया कि लालू परिवार में 'पावर वॉर' के साथ-साथ तलाक और घरेलू हिंसा को लेकर दायर मुकदमों से भी राजद के युवराज (तेजस्वी) की हताशा बढ़ी है. उन्होंने राजद की ओर इशारा करते हुए आरोप लगाया कि जिस पार्टी की सियासी सरपरस्ती मिलने से राजबल्लभ यादव और अरुण यादव जैसे लोग विधायक बनने पर जनता की सेवा करने के बजाय गरीबों की नाबालिग बेटियों से बलात्कार जैसा अपराध करते हैं, उसे दूसरों को ‘महिला विरोधी’ बताने से पहले अपना घर देखना चाहिए. मोदी ने लालू के बड़े पुत्र तेजप्रताप यादव की पत्नी से तलाक मामले की ओर इशारा करते हुए आरोप लगाया कि राजद के दो विधायक जब लालू परिवार की पीड़ित बहू के खिलाफ बयान देते हों, तब बिहार की आम बेटी-बहू इनसे क्या उम्मीद कर सकती है.
वीडियो
IPL 2024
मनोरंजन
धर्म-कर्म
-
Dharma According To Ramayana: रामायण के अनुसार धर्म क्या है? जानें इसकी खासियत
-
Principles Of Hinduism : क्या हैं हिंदू धर्म के सिद्धांत, 99% हिंदू हैं इससे अनजान
-
Akshaya Tritiya 2024: अक्षय तृतीया के दिन शुभ मुहूर्त में खरीदें सोना-चांदी, भग्योदय होने में नहीं लगेगा समय
-
Types Of Kaal Sarp Dosh: काल सर्प दोष क्या है? यहां जानें इसके प्रभाव और प्रकार के बारे में