पीएम नरेंद्र मोदी से शरद पवार की 'मुलाकात' तो नहीं बनी महाराष्ट्र के 'सियासी भूकंप' की वजह
संसद में एनसीपी अध्यक्ष शरद पवार की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से 'मुलाकात' की चर्चा भी हो रही है. कहा जा रहा है कि इस 'सियासी भूकंप' की तैयारी उसी गुप्त बैठक में हुई थी.
highlights
- सोमवार को पीएम नरेंद्र मोदी और शरद पवार की मुलाकात में तय हो गई थी भूमिका.
- मोदी से मुलाकात के बाद गृहमंत्री अमित शाह से भी मिले थे एनसीपी प्रमुख शरद पवार.
- अजीत पवार के इस कदम का पवार को अंदेशा न हो, ऐसा मानने के कोई कारण नहीं.
New Delhi:
शुक्रवार रात को जब लोगों ने अपना-अपना टीवी सेट बंद किया तो आखिरी खबर यही थी कि शनिवार को उद्धव ठाकरे मुख्यमंत्री पद का दावा पेश कर देंगे. कांग्रेस-एनसीपी (Congress-NCP) अंततः शिवसेना (ShivSena) को समर्थन देने को तैयार है. शनिवार सुबह जब लोगों ने अपने-अपने टीवी सेट खोले तो खबर चल रही थी कि देवेंद्र फड़णवीस (Devendra Fadnavis)ने महाराष्ट्र के नए मुख्यमंत्री बतौर शपथ ली. अजीत पवार (Ajit Pawar) होंगे डिप्टी सीएम. शनिवार सुबह महाराष्ट्र (Maharashtra) में आए इस 'सियासी भूकंप' (Political Earthquake) के झटकों ने सभी को हिला दिया. एनसीपी-कांग्रेस समेत शिवसेना ने इसे अजीत पवार की 'गद्दारी' (Traitor) बताया. हालांकि कुछ लोगों ने दबी जुबान में स्वीकार किया कि शरद पवार को भतीजे के इस कदम का आभास नहीं हो, ऐसा हो ही नहीं सकता है. इसके बाद सोमवार को संसद में एनसीपी अध्यक्ष शरद पवार की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से 'मुलाकात' की चर्चा भी हो रही है. कहा जा रहा है कि इस 'सियासी भूकंप' की तैयारी उसी गुप्त बैठक में हुई थी.
यह भी पढ़ेंः बीजेपी ने पहली बार शिवसेना पर बोला तीखा हमला, बोली- सत्ता के लिए सौदा करने वाले शिवाजी की बात न करें
अजीत पवार पर तुरंत कार्रवाई नहीं होने के मायने
शनिवार को जब एनसीपी प्रमुख शरद पवार प्रेस कांफ्रेस में अजीत पवार पर 'गद्दारी' का ठीकरा फोड़ रहे थे, तो उन्होंने कोई संकेत नहीं दिया कि अजीत पवार पर वह तुरंत कड़ी कार्रवाई करने जा रहे हैं. अगर अजीत पवार को ही शिवसेना को दिए जाने वाले 'समर्थन पत्र की चोरी' (Letter of Support) का जिम्मेदार करार दिया गया, तो उन्हें पार्टी से निलंबित करने में देर नहीं करनी चाहिए थी. अजीत पवार पर कार्रवाई पार्टी की बैठक में लिए जाने वाले निर्णय पर 'टाल' दी गई. इससे उन कयासों को बल मिला कि पार्टी में शरद पवार की मर्जी के बगैर पत्ता भी नहीं 'खड़कता' है. एस बात के संकेत समाचार एजेंसी एएनआई ने भी दिए कि शरद पवार पार्टी के नेता हैं और उनकी मर्जी के बगैर कोई बयान कोई कदम नहीं उठता.
यह भी पढ़ेंः मैंने तो पहले ही कहा था, क्रिकेट और पॉलिटिक्स में कुछ भी हो सकता है- नितिन गडकरी
मोदी-पवार की मुलाकात में बनी रूपरेखा
इसके अलावा हफ्ते की शुरुआत में संसद में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Pm Narendra Modi) और एनसीपी प्रमुख शरद पवार (Sharad Pawar) की 'मुलाकात' की भी चर्चा जोरों से हो रही है. कहने को तो यह मुलाकात महाराष्ट्र के किसानों की समस्या को लेकर हुई थी, लेकिन ऐसे सुर भी कम नहीं हैं, जिन्होंने उस मुलाकात में हुए 'गुप्त समझौते' को सियासी भूकंप का जिम्मेदार माना है. गौरतलब है कि उसी दिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राज्यसभा (Rajyasabha) के 250वें सत्र को संबोधित करते हुए एनसीपी और बीजद (BJD) की तारीफ की थी. इसके बाद मोदी-पवार की 'मुलाकात' शुरू हुई. मुलाकात के दौरान गृह मंत्री अमित शाह राज्य सभा में आंतरिक सुरक्षा (Internal Security) से जुड़े सवाल का जवाब दे रहे थे. तभी अचानक उन्हें मोदी की तरफ से 'संदेश 'मिला और शाह कुछ पलों के बाद संसद में मोदी के चैंबर की तरफ कदम बढ़ा चुके थे.
यह भी पढ़ेंः पीएम नरेंद्र मोदी ने पूरा किया वादा, देवेंद्र फड़णवीस को मुख्यमंत्री बनवाकर ही लिया दम
मोदी भी मिले थे पवार से
हालांकि इसे संयोग कह सकते हैं कि अमित शाह 9Amit Shah) का 'संक्षिप्त' जवाब समाप्त होते ही राज्यसभा स्थगित कर दी गई. जानकार बताते हैं कि शरद पवार की पीएम से मुलाकात के बाद अमित शाह और शरद पवार की भी बैठक (Meetings) हुई. इसके बाद इन कयासों को बल मिला कि मोदी-पवार की मुलाकात में कुछ मुद्दों पर सहमति बन गई है. कहा गया कि एनसीपी को केंद्रीय मंत्रिमंडल में स्थान देने की बात मुख्यतः तय हो गई है. इस बैठक के तुरंत बाद ही केंद्रीय मंत्री और महाराष्ट्र के नेता रामदास अठावले (Ramdas Athawale) का भी 'एनडीए में एनसीपी का स्वागत' से जुड़ा बयान आ गया. कहा गया कि एनसीपी के नेताओं को महत्वपूर्ण मंत्रिपद ले लेना चाहिए.
यह भी पढ़ेंः भाजपा, अजित पवार बहुमत साबित नहीं कर पाएंगे, NCP नेता नवाब मलिक ने किया दावा
मोदी-पवार के निजी रिश्ते
यहां यह कतई नहीं भूलना चाहिए कि भले ही हालिया लोकसभा चुनाव (Loksabha Elections) में पवार औऱ मोदी ने एक-दूसरे के खिलाफ बयानबाजी की हो, लेकिन दोनों नेताओं के निजी संबंध किसी से छिपे नहीं है. मोदी एक समय सार्वजनिक तौर पर शरद पवार को अपना 'गुरु' (Mentor) स्वीकार कर चुके हैं. दोनों ही नेता अचंभित करने वाले फैसले लेने के लिए जाने जाते हैं. ऐसे में अगर शनिवार सुबह महाराष्ट्र में 'सियासी भूकंप' आता है, तो किसी को कतई कोई आश्चर्य नहीं होना चाहिए. फिर शनिवार को अजीत पवार पर तंज कसने वाले संजय राउत (Sanjay raut) खुद कह चुके हैं, 'शरद पवार को अच्छे और पूरी तरह से समझने के लिए किसी को भी कई जन्म लेने पड़ेंगे'.
वीडियो
IPL 2024
मनोरंजन
-
Arti Singh Wedding: दुल्हन आरती को लेने बारात लेकर निकले दीपक...रॉयल अवतार में दिखे कृष्णा-कश्मीरा
-
Salman Khan Firing: सलमान खान के घर फायरिंग के लिए पंजाब से सप्लाई हुए थे हथियार, पकड़ में आए लॉरेंस बिश्नोई के गुर्गे
-
Riddhima Kapoor: पापा ऋषि कपूर की आखिरी कॉल नहीं उठा पाईं रिद्धिमा कपूर, आज तक है अफसोस
धर्म-कर्म
-
Maa Lakshmi Puja For Promotion: अटक गया है प्रमोशन? आज से ऐसे शुरू करें मां लक्ष्मी की पूजा
-
Guru Gochar 2024: 1 मई के बाद इन 4 राशियों की चमकेगी किस्मत, पैसों से बृहस्पति देव भर देंगे इनकी झोली
-
Mulank 8 Numerology 2024: क्या आपका मूलांक 8 है? जानें मई के महीने में कैसा रहेगा आपका करियर
-
Hinduism Future: पूरी दुनिया पर लहरायगा हिंदू धर्म का पताका, क्या है सनातन धर्म की भविष्यवाणी