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भाजपा के पास कोई महान नेता नहीं, इसलिए पटेल को अपना रहे : प्रियंका गांधी

कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने गुरुवार को सरदार वल्लभभाई पटेल को लेकर बीजेपी पर निशाना साधा है.

Updated on: 01 Nov 2019, 03:00 AM

नई दिल्ली:

कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने गुरुवार को सरदार वल्लभभाई पटेल को 'अपनाने' को लेकर नरेंद्र मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि भाजपा के पास कोई महान नेता नहीं है, जो स्वतंत्रता सेनानी रहा हो, इसलिए वे कांग्रेस के नेता रहे सरदार पटेल को अपना बता रहे हैं. प्रियंका ने कहा, "सरदार पटेल कांग्रेस के एक सच्चे नेता थे, जो पार्टी की विचारधारा के लिए समर्पित थे. वह जवाहरलाल नेहरू के करीबी साथी थे और आरएसएस के सख्त खिलाफ थे."

सन् 1948 में तत्कालीन गृहमंत्री सरदार पटेल ने आरएसएस पर प्रतिबंध लगाया था. प्रियंका ने एक साथ कई ट्वीट करते हुए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर निशाना साधा. उन्होंने ट्वीट किया, "आज भाजपा द्वारा उन्हें अपनाने की कोशिशें करते हुए और उन्हें श्रद्धांजलि देते देखकर बहुत खुशी होती है. भाजपा के इस एक्शन से दो चीजें स्पष्ट होती हैं.

पहली यह कि उनका अपना कोई स्वतंत्रता सेनानी महापुरुष नहीं है. तकरीबन सभी स्वतंत्रता सेनानी कांग्रेस से जुड़े थे. दूसरी चीज कि सरदार पटेल जैसे महापुरुष को एक न एक दिन उनके शत्रुओं को भी नमन करना पड़ता है." साल 2014 के बाद से मोदी सरकार सरदार पटेल की जयंती को 'एकता दिवस' के रूप में मनाती आ रही है.

भारत के एकीकरण में सरदार पटेल के योगदान को याद करते हुए इस वर्ष देशभर में विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुजरात के केवडिया में आयोजित एक विशेष समारोह में भी भाग लिया, जहां स्टैच्यू ऑफ यूनिटी (दुनिया की सबसे बड़ी प्रतिमा) स्थित है.

बता दें कि सरदार वल्लभभाई पटेल की जयंती पर पीएम नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को गुजरात के केवड़िया में ट्रेनी आईएएस अफसरों को संबोधित किया है. उन्होंने कहा कि सरदार साहब ने ही याद दिलाया था कि ये ब्यूरोकेसी ही है जिसके भरोसे हमें आगे बढ़ना है, जिसने रियासतों के विलय में अहम योगदान दिया था. सरदार पटेल ने दिखाया है कि सामान्य जन के जीवन में सार्थक बदलाव के लिए हमेशा एक बुलंद इच्छाशक्ति को होना जरूरी होता है.

पीएम मोदी ने आगे कहा कि आज भारत तेजी से बदल रहा है. कभी अभावों में चलनी वाली व्यवस्था आज विपुलता की तरफ बढ़ रही है. आज देश में विपुल युवा शक्ति, विपुल युवा भंडार और आधुनिक तकनीक है. उन्होंने कहा कि अपने सभी निर्णयों को आप ब्यूरोक्रेट्स को दो कसौटियों पर जरूर कसना चाहिए. एक, जो महात्मा गांधी ने रास्ता दिखाया था कि आपका फैसला समाज के आखिरी छोर पर खड़े व्यक्ति की आशा, आकांक्षाओं को पूरा करता है या नहीं.