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INX मीडिया केस में पी चिदंबरम की गिरफ्तारी के बाद बाप-बेटे हो जाएंगे जमानती! जानें कैसे

चिदंबरम प्रेस कॉन्फ्रेंस करने के बाद अपने जोर बाग स्थित आवास पहुंचें जहां से सीबीआई की टीम ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया.

Updated on: 22 Aug 2019, 06:57 AM

नई दिल्‍ली:

देश के पूर्व वित्त-गृहमंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी. चिदंबरम को सीबीआई ने उनके दिल्ली के जोरबाग आवास से गिरफ्तार कर लिया है. सीबीआई ने चिदंबरम को INX मीडिया घोटाले के केस में गिरफ्तार किया है. दिल्ली की हाईकोर्ट ने मंगलवार को चिदंबरम की अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी थी जिसके बाद सीबीआई मंगलवार को उनके घर पहुंची लेकिन वो वहां नहीं मिले. जिसके बाद वो लगातार 27 घंटों तक भूमिगत रहे फिर अचानक कांग्रेस कार्यालय से प्रेस कॉन्फ्रेंस कर अपने बेगुनाह होने का दावा किया. चिदंबरम प्रेस कॉन्फ्रेंस करने के बाद अपने जोर बाग स्थित आवास पहुंचें जहां से सीबीआई की टीम ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया.

आपको बता दें कि यह पूरा मामला आईएनएक्स मीडिया को फॉरेन इन्वेस्टमेंट प्रोमोशन बोर्ड (FIPB) से गैर कानूनी तौर पर मंजूरी दिलवाने से जुड़ा है जिसमें मीडिया ग्रुप ने साल 2007 में करीब 305 करोड़ का विदेशी निवेश हासिल किया था. पी चिदंबरम उस दौरान यूपीए-2 सरकार में वित्त मंत्री थे. इस केस में INX मीडिया की मालकिन इंद्राणी मुखर्जी ने पी चिदंबरम के बेटे कार्ति चिदंबरम पर 10 लाख रुपये देने की बात कबूल की है. आपको बता दें कि पी चिदंबरम के बेटे कार्ति चिदंबरम पहले से ही इस मामले में जमानत पर चल रहे हैं. इस केस में सीबीआई ने 15 मई 2017 में FIPB मंजूरी में अनियमिताओं के चलते FIR दर्ज की थी. इसके बाद 2018 में ED ने मनी लॉन्ड्रिंग के तहत भी केस दर्ज किया था.

अब अगर चिदंबरम को भी INX मीडिया मामले में कोर्ट से जमानत मिल जाती है तो बेटे कार्ति चिदंबरम के साथ पिता पी चिदंबरम भी जमानत पर रहेंगे. आपको बता दें कि पूर्व केंद्रीय मंत्री पी चिदंबरम को सीबीआई ने बुधवार की रात को उनके दिल्ली के जोरबाग आवास से ड्रामेबाजी के बाद गिरफ्तार कर लिया था. जब सीबीआई चिदंबरम को गिरफ्तार करने उनके आवास पहुंची तभी कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने वहां पहुंचकर नारेबाजी शुरू कर दी जिसके बाद पुलिस ने इन कार्यकर्ताओं को भी हिरासत में लेना शुरू कर दिया था.

आपको बता दें कि साल 2007 में हुए INX मीडिया घोटाले में इंद्राणी मुखर्जी और उनके पति पीटर मुखर्जी जो कि सह संस्थापक थे, दोनों पर इस पूरे घोटाले को अंजाम देने का आरोप है. कार्ति चिदंबरम पर भी इस साजिश में शामिल होने के आरोप हैं. उस दौरान पी चिदंबरम देश के वित्त मंत्री थे. साल 2018 में इंद्राणी मुखर्जी ने सीबीआई को अपने बयान में कहा कि उन्होंने इसके लिए कार्ति के साथ डील की थी. पिछले महीने ही दिल्ली हाई कोर्ट ने एक अन्य मामले- शीना वोरा मर्डर केस की मुख्य आरोपी इंद्राणी को INX केस की अप्रूवर बना दिया था. पिछले साल फरवरी में कार्ति को इस मामले में गिरफ्तार भी किया गया और मार्च में उन्हें जमानत मिल गई.

अब तक इस केस में कब-कब क्या हुआ जानिए

15 मई 2017: सीबीआई ने INX मीडिया के लिए FIPB मंजूरी में अनियमिताओं का आरोप में FIR दर्ज की. यह कंपनी साल 2007 में आई जब 305 करोड़ का विदेशी फंड मीडिया ग्रुप को मिला आपको बता दें कि उस समय कार्ति के पिता पी चिदंबरम वित्त मंत्री थे.

16 जून 2017: कार्ति के खिलाफ FRRO ने लुक आउट नोटिस जारी किया.

10 अगस्त 2017: मद्रास हाई कोर्ट ने कार्ति और 4 अन्य लोगों के खिलाफ जारी इस लुक आउट नोटिस पर यह कहते हुए रोक लगा दी कि इनके खिलाफ अभी वारंट जारी नहीं हुआ है.

18 अगस्त 2017: सुप्रीम कोर्ट ने कार्ति चिदंबरम को 23 अगस्त तक सीबीआई के सामने पेश होने का आदेश दिया.

11 सितंबर 2017: सीबीआई ने जांच के बाद सुप्रीम कोर्ट को बंद लिफाफे के भीतर विदेश में कार्ति के संभावित लेनदेन से जुड़ी जानकारी दी.

22 सितंबर 2017: सीबीआई ने कोर्ट से कार्ति को विदेश जाने से रोकने की गुहार लगाई क्योंकि एजेंसी को शक था कि वह विदेश में अपने बैंक खाते बंद करा सकते हैं.

09 अक्टूबर 2017: कार्ति ने कोर्ट से बेटी का दाखिला कैब्रिज यूनिवर्सिटी में कराने के लिए ब्रिटेन जाने की इजाजत मांगी और कहा कि वह इस दौरान किसी भी बैंक में नहीं जाएंगे. साथ ही पी चिदंबरम ने सुप्रीम कोर्ट में कहा कि केंद्र में सत्ताधारी बीजेपी सरकार उनके और बेटे कार्ति के खिलाफ राजनीतिक मंशा और बदले की भावना से काम कर रही है.

20 नवंबर 2017: सुप्रीम कोर्ट ने बेटी के दाखिले के लिए कार्ति को ब्रिटेन जाने की इजाजत दे दी.

08 दिसंबर 2017: कार्ति ने एयरसेल-मैक्सिस डील में सीबीआई की ओर से जारी समन को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी.

31 जनवरी 2018: सुप्रीम कोर्ट ने कार्ति के खिलाफ लुक आउट नोटिस पर रोक लगाने वाले मद्रास हाई कोर्ट के फैसले को वापस कर दिया.

16 फरवरी 2018: कार्ति के CA एस. भास्कर रमन को गलत तरीके से पैसे कमाने में उनकी मदद के आरोप में गिरफ्तार किया गया.

28 फरवरी 2018: चेन्नई एयरपोर्ट से कार्ति को गिरफ्तार किया गया और फिर दिल्ली लाया गया. दिल्ली कोर्ट ने उन्हें एक दिन की पुलिस कस्टडी में भेज दिया.

23 मार्च 2018: कार्ति को 23 दिन तक जेल में रहने के बाद जमानत मिल गई.

25 जुलाई 2018: हाई कोर्ट ने पी चिदंबरम की गिरफ्तारी से बचने के लिए अग्रिम जमानत याचिका को मंजूर कर लिया.

11 अक्टूबर 2018: INX मीडिया के मनी लॉन्ड्रिंग केस में ED ने कार्ति की 54 करोड़ की संपत्ति अटैच कर ली, जिसमें भारत, ब्रिटेन और स्पेन की संपत्ति शामिल थी.

11 जुलाई 2019: इंद्राणी मुखर्जी को कोर्ट ने शर्तों के साथ केस का अप्रूवर बना दिया.

01 अगस्त 2019: ईडी ने कार्ति को दिल्ली के जोर बाग स्थित घर खाली करने को कहा, जिसे एजेंसी पहले ही अटैच कर चुकी थी.

20 अगस्त 2019: दिल्ली हाई कोर्ट ने पी चिदंबरम की अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी जिसके बाद सीबीआई उन्हें गिरफ्तार करने पहुंची, लेकिन चिदंबरम अपने घर पर नहीं मिले और उनके फोन भी बंद पाए गए.

21 अगस्त की रात को सीबीआई ने काफी ड्रामेबाजी के बाद पी चिदंबरम को उनके जोरबाग आवास से गिरफ्तार किया और सीबीआई हेडक्वार्टर ले गई.