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झटका नंबर 2: कश्मीर पर पाकिस्तान को अमेरिका के बाद अब चीन ने भी दिया झटका

चीन ने पाकिस्तान को सलाह दी है कि वह भारत के साथ संबंध खराब नहीं करे. साथ ही ऐसा कोई कदम नहीं उठाए जिससे क्षेत्र की शांति व्यवस्था खतरे में पड़े. इसके पहले अमेरिका भी पाकिस्तान को इसी मसले पर बड़ा झटका दे चुका है.

Updated on: 09 Aug 2019, 03:58 PM

highlights

  • चीन ने पाकिस्तान को संयम से काम ले भारत से संबंध सुधारने को कहा.
  • चीनी विदेश मंत्री ने सलाह दी कि पाकिस्तान एकतरफा फैसले लेने से बचे.
  • इससे पहले कश्मीर मसले पर अमेरिका दे चुका है पाकिस्तान को झटका.

नई दिल्ली.:

जम्मू-कश्मीर से धारा 370 हटाए जाने से बौखलाया पाकिस्तान दुनिया भर से समर्थन जुटाने की भीख मांग रहा है. इस क्रम में पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी चीन भी आए, लेकिन वहां से भी उन्हें टका सा जवाब मिला. साथ ही चीन ने पाकिस्तान को सलाह दी है कि वह भारत के साथ संबंध खराब नहीं करे. साथ ही ऐसा कोई कदम नहीं उठाए जिससे क्षेत्र की शांति व्यवस्था खतरे में पड़े. इसके पहले अमेरिका भी पाकिस्तान को इसी मसले पर बड़ा झटका दे चुका है.

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पाकिस्तान से एकतरफा फैसले लेने से बचने को कहा
कश्मीर मसले पर चीन का समर्थन जुटाने के लिए पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी बीजिंग दौरे पर आए हुए हैं. उनके साथ पाकिस्तान के विदेश सचिव सोहैल महमूद भी हैं. हालांकि पाकिस्तान की इस मुहिम को बड़ा झटका देते हुए चीन ने उसे संयम से काम लेने और एकतरफा फैसले लेने से बचने की सलाह दी है. चीन ने स्पष्ट तौर पर कहा है कि पाकिस्तान भारत से संबंध सुधारने की दिशा में काम करे, ना कि संबंध बिगाड़ने की. इसके लिए जरूरी होगा कि पाकिस्तान भारत के साथ तनाव कम करे और बेवजह के बयानों और कदमों से बाज आए.

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एकतरह से चीन ने भी कश्मीर को भारत का अंदरूनी मामला माना
पाकिस्तान के मीडिया के अनुसार चीन जाने से पहले कुरैशी ने कहा, 'चीन ना केवल पाकिस्तान का मित्र है, बल्कि क्षेत्र का एक महत्वपूर्ण देश भी है. मैं कश्मीर में भारत सरकार द्वारा उठाए असंवैधानिक कदमों से चीनी नेताओं को अवगत कराऊंगा. मैं उन्हें मानवाधिकारों के घोर उल्लंघन के बारे भी जानकारी दूंगा.' हालांकि पाकिस्तान के इस प्रयासों को चीन ने बड़ा झटका दिया है. एक तरह से चीन का यह रुख पाकिस्तान को आगाह करता है कि जम्मू-कश्मीर भारत का अंदरूनी मामला है और इसमें पड़कर वह अपनी साख को दांव पर नहीं लगाएगा.

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भारत पहले ही पाकिस्तान को कर चुका है आगाह
गौरतलब है कि पाकिस्तान के विदेश मंत्री की चीन यात्रा कश्मीर पर भारत के फैसले के बाद अंतरराष्ट्रीय समुदाय को एकजुट करने की पाकिस्तान की कवायद का हिस्सा है. चीन ने भी लद्दाख को प्रभावित करने वाले बदलावों का विरोध किया है. पाकिस्तान और चीन कूटनीतिक साझेदार हैं और विभिन्न मुद्दों पर करीबी सहयोग करते हैं. हालांकि पाकिस्तान की इस बौखलाहट के जवाब में भारत ने कहा है कि उसे द्विपक्षीय कूटनीतिक संबंधों को बरकरार रखना चाहिए. इसके साथ ही भारत ने पाक के विरोध को दरकिनार करते हुए कहा कि जम्मू-कश्मीर पर कोई भी फैसला उसका आंतरिक मामला है.