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CBI vs CBI : अरुण जेटली ने कहा, दोनों अफसरों के पद पर रहते निष्‍पक्ष जांच नहीं हो पाती

सीबीआई में मचे घमासान के बीच बुधवार को केंद्रीय वित्‍त मंत्री अरुण जेटली ने सरकार की ओर से इस पूरे मामले में तस्‍वीर साफ करने की कोशिश की. उन्‍होंने कहा, ‘सीबीआई के विशेष निदेशक अपने निदेशक पर आरोप लगा रहे हैं. विशेष निदेशक को सीबीआई ने आरोपी बनाया है. संस्‍थान के दो टॉप अफसर आरोपी हैं. अब सवाल उठता है कि मामले की जांच कौन करेगा. इस मामले की जांच में पूरी पारदर्शिता बरतनी होगी.’

Updated on: 24 Oct 2018, 01:32 PM

नई दिल्ली:

सीबीआई में मचे घमासान के बीच बुधवार को केंद्रीय वित्‍त मंत्री अरुण जेटली ने सरकार की ओर से इस पूरे मामले में तस्‍वीर साफ करने की कोशिश की. उन्‍होंने कहा, ‘सीबीआई के विशेष निदेशक अपने निदेशक पर आरोप लगा रहे हैं. विशेष निदेशक को सीबीआई ने आरोपी बनाया है. संस्‍थान के दो टॉप अफसर आरोपी हैं. अब सवाल उठता है कि मामले की जांच कौन करेगा. इस मामले की जांच में पूरी पारदर्शिता बरतनी होगी.’

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उन्‍होंने कहा, ‘सीबीआई महत्‍वपूर्ण जांच एजेंसी है. इस संस्‍थान की अहमियत को देखते हुए मामले की साफ-सुथरी जांच जरूरी है. इसलिए अंतरिम उपाय करते हुए वरिष्‍ठ अफसरों को छुट्टी पर भेजा गया. एसआईटी इन अफसरों के रहते जांच में निष्‍पक्षता नहीं बरत सकती थी. हमने जो कदम उठाए हैं, वह पारदर्शिता के उच्‍चतर मानकों पर खरे उतरते हैं.’

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उन्‍होंने कहा, ‘एक दिन पहले हुर्इ बैठक में सीवीसी ने कहा था कि इन दोनों अफसरों के पद पर रहते निष्‍पक्षता से जांच की उम्‍मीद नहीं की जा सकती. यहां तक कि कोई अन्‍य एजेंसी भी साफ-सुथरी जांच नहीं कर सकती, जब तक दोनों पद पर रहेंगे. इसी कारण दोनों को छुट्टी पर भेजने का फैसला लिया गया. उन्‍होंने कहा कि सीवीसी की संस्‍तुति और सरकार द्वारा की गई कार्रवाई सीबीआई की गरिमा और विश्‍वसनीयता को दुरुस्‍त रखने में मददगार साबित होगी, इसका हमें भरोसा है.