logo-image

PM मोदी ने वाराणसी में किया देश के पहले मल्टी मॉडल टर्मिनल का उद्घाटन, गंगा के रास्ते चलेंगे मालवाहक जहाज

पीएम मोदी की ओर से उद्घाटित किए गए वाराणसी के मल्टी मॉडल टर्मिनल की लागत 206 करोड़ रु है.

Updated on: 12 Nov 2018, 06:04 PM

नई दिल्ली:

पीएम नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) सोमवार को अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी (Varanasi) के 15वें दौरे पर पहुंचे जहां उन्होंने वाराणसी-हल्दिया नेशनल वॉटर-वे 1 (Varanasi Haldia Water Highway 1) पर बने देश के मल्टी मॉडल टर्मिनल (Multi Model Terminal) का उद्घाटन किया. पीएम मोदी (PM Modi) ने वाराणसी के खिड़किया घाट पर सीएम योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) और केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी (Nitin Gadkari) की उपस्थिति में देश के पहले मल्टी मॉडल टर्मिनल को देश को समर्पित किया. इस दौरान उन्होंने मालवाहक जहाज 'टैगोर' से कंटेनर अनलोडिंग की शुरुआत भी की.

उद्घाटन के दौरान लोगों को संबोधित करते हुए पीएम मोदी (PM Modi) ने कहा,' काशी के लिए, पूर्वांचल के लिए, पूर्वी भारत के लिए, पूरे भारतवर्ष के लिए, आज का ये दिन बहुत ऐतिहासिक है. इस जलमार्ग से समय और पैसा बचेगा, सड़क पर भीड़ भी कम होगी, ईंधन का खर्च भी कम होगा और गाड़ियों से होने वाले प्रदूषण से भी राहत मिलेगी.'

पीएम ने कहा,' अभी कुछ देर पहले मैंने नदी मार्ग से पहुंचे देश के पहले कंटेनर का स्वागत किया. यह कंटेनर चलने का मतलब है कि पूर्वी उत्तर प्रदेश और पूर्वी भारत जलमार्ग अब बंगाल की खाड़ी से जुड़ गया है.'

और पढ़ें: Rafale Deal: केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट को बताया, आखिर कैसे हुई राफेल डील 

पीएम मोदी (PM Modi) की ओर से उद्घाटित किए गए वाराणसी के मल्टी मॉडल टर्मिनल की लागत 206 करोड़ रु है, इस टर्मिनल पर माल की लोडिंग और अनलोडिंग के लिए 200 मीटर लंबे और 45 मीटर चौड़े जेटी का निर्माण किया गया है और साथ ही दुनिया की अत्‍याधुनिक हैवी क्रेन भी लगाई गई है. जर्मनी में तैयार हुई इस मोबाइल हार्बर क्रेन की कीमत 28 करोड़ रुपये है.

बता दें कि हल्दिया जलमार्ग शुरू होने से भारत सागरमाला प्रॉजेक्‍ट के जरिए दक्षिण एशिया के कारोबार में चीन के मुकाबले अपनी दमदार उपस्थिति दर्ज करा सकेगा.

और पढ़ें: योगी सरकार के मंत्री बोले, शहरों के नाम बदलने से पहले अपने मुस्लिम नेताओं के नाम बदले बीजेपी 

गौरतलब है कि साल 2015 में प्रधानमंत्री मोदी ने ही सागरमाला प्रॉजेक्ट की शुरुआत की थी ताकि सड़क, विमान के अलावा बदंरगाहों के जरिए भी आर्थिक रूट बन सके और देश में कारोबार को गति मिल सके. इस लिहाज से वाराणसी-हल्दिया जलमार्ग में गंगा के रास्‍ते व्‍यापारिक गतिविधियां होने से रामगनर टर्मिनल के जरिए उत्तर भारत को पूर्वी और पूर्वोत्तर भारत, बांग्‍लादेश, नेपाल, म्‍यांमार और अन्‍य दक्षिण एशियाई देशों को जोड़ेगा.