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गृह मंत्रालय का निर्देश, 10 अप्रैल को आरक्षण विरोध में बुलाए गए भारत बंद के लिए सभी राज्य रहें सतर्क

मध्यप्रदेश के ग्वालियर-चम्बल क्षेत्र में दो अप्रैल को भारत बंद के दौरान भारी हिंसा के बाद आरक्षण व्यवस्था के खिलाफ 10 अप्रैल को भारत बंद के आह्वान के संदेश सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं।

Updated on: 09 Apr 2018, 07:01 PM

नई दिल्ली:

गृह मंत्रालय ने सभी राज्यों को 10 अप्रैल को भारत बंद के मद्देनजर एहतियातन सभी आवश्यक उपाय करने का निर्देश जारी करते हुए कहा है कि जरूरत पड़ने पर हिंसा को रोकने के लिए वे तमाम ऐक्शन ले सकते हैं। 

इतना ही नहीं केंद्रशासित प्रदेशों से कहा है कि वे किसी भी तरह की हिंसक घटना और अन्य गतिविधियों को रोकने के लिए सुरक्षा बढ़ा दें।

बता दें कि मध्यप्रदेश के ग्वालियर-चम्बल क्षेत्र में दो अप्रैल को भारत बंद के दौरान भारी हिंसा के बाद आरक्षण व्यवस्था के खिलाफ 10 अप्रैल को भारत बंद के आह्वान के संदेश सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं। इससे सतर्क पुलिस ने आम लोगों से अपील की है कि वे सामुदायिक सद्भाव बनाये रखें।

वहीं मध्यप्रदेश पुलिस महानिदेशक ऋषि कुमार शुक्ला ने 10 अप्रैल को संभावित भारत बंद के बारे में पूछे जाने पर संवाददाताओं से कहा, 'हमारी सभी नागरिकों से अपील है कि वे शांति और सद्भाव बनाये रखें. हालांकि, हम किसी भी अप्रिय स्थिति से निपटने के लिये तत्पर हैं।'

उन्होंने कहा, 'समाज के अलग-अलग समुदायों में मतभिन्नताएं हो सकती हैं लेकिन इन्हें हिंसा में परिवर्तित नहीं होना चाहिये। प्रदेश के लिए अमन-चैन का माहौल आवश्यक है।'

गौरतलब है कि दो अप्रैल को भारत बंद के दौरान ग्वालियर-चम्बल क्षेत्र में अलग-अलग हिंसक घटनाओं में आठ लोग मारे गये थे। इनमें भिण्ड जिले के चार, ग्वालियर के तीन और मुरैना का एक व्यक्ति शामिल हैं। इन घटनाओं में 54 पुलिसकर्मी सहित 153 लोग घायल हो गए थे।

भारत बंद के दौरान संगठित हिंसा से पुलिस के खुफिया तंत्र पर भी सवाल उठे थे। यह बंद अनुसूचित जाति/ अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम को कथित तौर पर कमजोर करने के प्रयासों के खिलाफ बुलाया गया था।

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