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सरकार ने राहुल गांधी की एसपीजी पर टिप्पणी को बताया आधारहीन और दुर्भाग्यपूर्ण

कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के द्वारा एसपीजी की भर्ती को लेकर किए गए दावे को केंद्रीय गृह मंत्रालय ने खारिज करते हुए उनके बयान को 'आधारहीन, तथ्यहीन और दुर्भाग्यपूर्ण' बताया है.

Updated on: 24 Sep 2018, 05:43 PM

नई दिल्ली:

कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के द्वारा एसपीजी (स्पेशल प्रोटेक्शन ग्रुप) की भर्ती को लेकर किए गए दावे को केंद्रीय गृह मंत्रालय ने खारिज करते हुए उनके बयान को 'आधारहीन, तथ्यहीन और दुर्भाग्यपूर्ण' बताया है. 22 सितंबर को राहुल गांधी ने आरोप लगया था कि 'प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा नियुक्त किए गए एसपीजी चीफ को अपना पद छोड़ना पड़ा था क्योंकि उन्होंने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के द्वारा चुने गए एसपीजी अधिकारियों की सूची को स्वीकार करने से इंकार कर दिया था.'

राहुल गांधी ने शनिवार को दिल्ली में तकरीबन 20 प्रदेशों के महाविद्यालयों और विश्वविद्यालयों के शिक्षकों के साथ आयोजित संवाद में यह टिप्पणी की थी.

कांग्रेस अध्यक्ष के इस बयान पर गृह मंत्रालय ने कहा कि मामले की जांच की गई और सवाल में लाए गए अधिकारी ने दावे के साथ कहा कि उन्होंने राहुल गांधी के साथ कभी भी इस तरह की बातचीत नहीं हुई.

गृह मंत्रालय के बयान के अनुसार, 'मामले की जांच की गई है. एसपीजी के पूर्व निदेशक विवेक श्रीवास्तव (जिनके बारे में) ने कहा कि उनकी राहुल गांधी के साथ कभी इस तरह की कोई बातचीत नहीं हुई. ऑफिसर ने कहा कि कामों को लेकर वे एसपीजी से मिला करते थे.'

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मंत्रालय ने कहा कि एसपीजी एक पेशेवर संगठन है जो मौजूदा प्रधानमंत्री, पूर्व प्रधानमंत्रियों और उनके परिवारों को 'बहुत गंभीरता से और उच्च पेशेवर भावना' के साथ सुरक्षा देने के लिए टास्क लेता है. इसलिए मीडिया के जरिये राहुल गांधी की टिप्पणी आधारहीन है.