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बैंकिंग सेक्टर की स्थिति पर श्वेतपत्र जारी करे सरकार: कांग्रेस

पार्टी ने कहा कि बैंक 31 दिसम्बर, 2017 तक हुए घपलों के कारण हुए नुकसान और अपनी कुल गैर निष्पादित संपत्तियों (एनपीए) का खुलासा करे।

Updated on: 18 Feb 2018, 10:45 PM

नई दिल्ली:

कांग्रेस ने रविवार को नरेंद्र मोदी सरकार से बैंकिग क्षेत्र की स्थिति पर एक श्वेतपत्र जारी करने की मांग की।

पार्टी ने साथ ही कहा कि बैंक 31 दिसम्बर, 2017 तक हुए घपलों के कारण हुए नुकसान और अपनी कुल गैर निष्पादित संपत्तियों (एनपीए) का खुलासा करें।

कांग्रेस प्रवक्ता एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री मनीष तिवारी ने कहा, 'बजट सत्र जारी है, ऐसे में हम बीजेपी नीत राजग सरकार से मांग कर रहे हैं कि वह बैंकिंग सेक्टर की सेहत पर श्वेतपत्र पेश करे।'

उन्होंने कहा, 'दूसरी बात यह कि सभी निजी व सार्वजनिक क्षेत्र के बैंक 31 दिसम्बर, 2017 तक की अपनी पूरी एनपीए का ऐलान कर इसका विवरण जारी करें, ताकि लोगों को पता चल सके कि किस पर किस बैंक का कितना बकाया है।'

तिवारी ने कहा कि बैंकों में जमा पैसा आम लोगों का है और उन्हें इसके बारे में जानने का पूरा अधिकार है। उन्होंने कहा कि पंजाब नेशनल बैंक के करीब 12 हजार करोड़ रुपये के घपले को मिलाकर कुल बैंक घोटाले करीब 80 हजार करोड़ के आसपास के हैं।

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नरेंद्र मोदी सरकार पर धावा बोलते हुए कांग्रेस प्रवक्ता ने कहा कि कांग्रेस नीत संप्रग सरकार आरटीआई विधेयक को पारित कर पारदर्शिता व खुलापन लेकर आई थी, जिसमें कोई भी सरकार की अंदर की बातों को जान सकता है। लेकिन, मोदी सरकार केवल गोपनीयता और अपारदर्शिता लेकर आई है।

तिवारी ने कहा, 'प्रधानमंत्री आपको नहीं बताएंगे कि उनकी विदेश की यात्राओं के दौरान कौन उनके साथ गया था, क्योंकि इसे राज्य की गोपनीय सूचना माना जाता है। निजी लोग करदाताओं के पैसे पर प्रधानमंत्री के साथ जा रहे हैं, लेकिन इनके बारे में जानकारी सीआईसी के आदेश के बाद भी नहीं दी जाएगी, क्योंकि यह बहुत बड़ा सरकारी गोपनीय तथ्य है।'

उन्होंने कहा, 'रक्षामंत्री आपको नहीं बताएंगे कि राफेल विमान की कीमत क्या है, वित्तमंत्री बैंकों की सेहत के बारे में नहीं बताएंगे और सूचना एवं प्रसारण मंत्री अपनी शैक्षिक योग्यता नहीं बताएंगी, क्योंकि यह सभी बहुत बड़े सरकारी राज हैं।'

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