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बिहार बीजेपी ने लगाया बड़ा आरोप, रामनवमी हिंसा पर पुलिस बहुसंख्यकों पर कर रही है पक्षपातपूर्ण कार्रवाई

बिहार में बीजेपी और जेडीयू के गठबंधन वाली एनडीए सरकार में तकरार शुरू हो गई है। बीजेपी ने बिहार पुलिस पर पार्टी कार्यकर्ताओं के खिलाफ पक्षतापूर्ण कार्रवाई करने का आरोप लगाया है।

Updated on: 07 Apr 2018, 03:31 PM

नई दिल्ली:

बिहार में बीजेपी और जेडीयू के गठबंधन वाली एनडीए सरकार में तकरार शुरू हो गई है। बीजेपी ने बिहार पुलिस पर पार्टी कार्यकर्ताओं के खिलाफ पक्षतापूर्ण कार्रवाई करने का आरोप लगाया है।

बीजेपी नेताओं के एक प्रतिनिधिमंडल ने राज्य के डीजीपी केएस द्विवेदी से मिलकर एक ज्ञापन सौंपा है जिसमें पार्टी कार्यकर्ताओं पर सांप्रदायिक हिंसा को लेकर कड़ी कार्रवाई पर नाराजगी जाहिर की है। खास बात यह है कि बिहार में गृह विभाग मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के पास ही है। बीजेपी के ज्ञापन में पार्टी के कई विधायकों के हस्ताक्षर हैं।

बीजेपी ने डीजीपी से अपनी शिकायत में कहा है कि प्रशासन बहुसंख्यकों के खिलाफ कठोर रवैया अपना रही है वहीं अल्पसंख्यकों के प्रति सहानुभूति दिखा रही है।

बीजेपी ने दावा किया है कि बिहार के अलग-अलग जिलों में रामनवमी के बाद जो सांप्रदायिक हिंसा हुई है उसमें पुलिस पक्षपात करते हुए बीजेपी कार्यकर्ताओं और निर्दोष लोगों को फंसा रही है।

बीजेपी विधायक संजीव चौरसिया ने शिकायत को लेकर कहा है कि पुलिस ने बीते दिनों कई निर्दोष पार्टी कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार किया है जिसे बिना किसी देरी के रिहा कर देना चाहिए। उन्होंने कहा विपक्ष राज्य में सांप्रदायिक माहौल बिगाड़ने की कोशिश में जुटी हुई है।

ज्ञापन सौंपने के बाद बीजेपी विधायक चौरसिया ने कहा, 'डीजीपी ने हमें भरोसा दिलाया है कि जांच के बाद सबकुछ साफ हो जाएगा। उन्होंने कहा है कि निर्दोष को कई सजा नहीं होगी और जो दोषी होंगे उन्हें कड़ी से कड़ी सजा मिलेगी।'

गौरतलब है कि रामनवमी के बाद हुई हिंसा में क्षतिग्रस्त मस्जिद और मदरसे को बनवाने के लिए सीएम नीतीश कुमार ने फंड जारी कर दिया था जिसका बीजेपी नेताओं ने कड़ा विरोध किया था। वहीं भागलपुर में हिंसा के बाद बीजेपी नेता और केंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे के बेटे अर्जित शाश्वत की गिरफ्तारी भी हुई थी जिससे बीजेपी के एक धड़े में नाराजगी थी।

नीतीश कुमार ने एक कार्यक्रम के दौरान साफ कर दिया था कि राज्य में उनकी सरकार सांप्रदायिक सौहाद्र को बनाए रखने के लिए संकल्पित है और इससे छेड़थाड़ करने वालों को सजा मिलेगी।