अमृतसर ट्रेन हादसा : ड्राइवर की जुबानी सुनिए हादसे की पूरी कहानी
अमृतसर में दशहरा का दिन जीवन भर के लिए दर्द दे गया. रावण दहन के उस भयावह शाम को शायद ही लोग भूल पाएंगे. जिस ट्रेन ने 59 लोगों की जान ले ली, उस ट्रेन के ड्राइवर अरविंद कुमार ने पूरा वाकया बताया है.
नई दिल्ली:
अमृतसर में दशहरा का दिन जीवन भर के लिए दर्द दे गया. रावण दहन के उस भयावह शाम को शायद ही लोग भूल पाएंगे. जिस ट्रेन ने 59 लोगों की जान ले ली, उस ट्रेन के ड्राइवर अरविंद कुमार ने पूरा वाकया बताया है. अरविंद कुमार का एक लेटर सामने आया है जिसमें उसने बताया कि उस शाम को क्या हुआ था. अरविंद कुमार ने बताया कि उसने इमरजेंसी ब्रेक लगाया था लेकिन ट्रेन रूकी नहीं. जब गाड़ी का स्पीड धीरे हुआ तो लोग ट्रेन पर पत्थर फेंकने लगे. अपने पैसेंजर की सुरक्षा को देखते हुए मैंने गाड़ी की स्पीड बढ़ा दी.
रेलवे पुलिस ने रेल ड्राइवर अरविंद कुमार के खिलाफ गैर इरादतन हत्या का मामला दर्ज करके उसे हिरासत में ले लिया है. पूछताछ के दौरान अरविंद ने बताया कि शाम को जालंधर सिटी से चलने के बाद जब गाड़ी जोड़ा फाटक के नजदीक पहुंची तो गाड़ी की दोनों साइड की येलो लाइट जलाकर गाड़ी धीरे-धीरे आगे बढ़ रही थी. जब भीड़ ट्रैक पर आ गई तो उसने इमरजेंसी ब्रेक लगाई थी, लेकिन भीड़ ने उन पर और ट्रेन पर पथराव शुरू कर दिया.
इसके बाद गाड़ी में सवार यात्री की सुरक्षा को देखते हुए मजबूरन गाड़ी को बढ़ाना पड़ा. फिर अमृतसर स्टेशन पर पहुंचकर अधिकारियों को इस संबंध में जानकारी दे दी थी.
बता दें कि शुक्रवार (19 अक्टूबर) देर शाम जोड़ा रावण दहन के दौरान लोग रेलवे ट्रैक पर चले गए थे. तभी उनपर ट्रेन चढ़ गई. जिसमें 59 लोगों की मौत हो गई. जबकि कई लोग जख्मी हो गए थे.
और पढ़ें : अमृतसर में हादसे वाली जगह पर रेल ट्रैक खाली कराने पहुंचे पुलिसवालों पर पत्थर से हमला
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