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कैंसर पीड़ित युवा लड़के संरक्षित करा सकते हैं शुक्राणु स्टेम सेल

अमेरिका की वाशिंगटन स्टेट यूनीवर्सिटी के रिसर्चर्स ने कैंसर पीड़ित लड़को के शुक्राणुओं को सुरक्षित रखने की तकनीकि विकसित की है।

Updated on: 11 Apr 2017, 12:12 PM

नई दिल्ली:

अमेरिका की वाशिंगटन स्टेट यूनीवर्सिटी के रिसर्चर्स ने कैंसर पीड़ित लड़को के शुक्राणुओं को सुरक्षित रखने की तकनीकि विकसित की है। जर्नल सेल रिपोर्ट्स में छपे एक शोध के अनुसार कैंसर से पीड़ित लड़के ट्रीटमेंट के दौरान अपनी फर्टीलिटी की क्षमता को गंवा देते है।

जो लड़के अभी तक वयस्क नहीं हो पाए है उनके शुक्राणुओं को ऐसी तकनीकी के जरिए फ्रोजन किया जा सकता है। जिसकी मदद से शुक्राणुओं को संवर्धित करके उन्हें वापस वीर्यकोष में रख दिया जाए ताकि वयस्क होने पर शुक्राणुओं का उत्पादन हो सके।

शोधकर्ता जोन ओटले और उनके सहयोगी ऐसी तकनीक विकसित करने में जुटे हैं। ओटले ने कहा, 'मुझे लगता है कि यह मानक बन जाएगा जहां हर कोई अपनी कोशिकाओं को संवर्धित करवा सकेगा। कैंसर पर नियंत्रण के बाद जीवन की गुणवत्ता का बड़ा सवाल खड़ा हो जाता है जिसमें सामान्य प्रजनन शामिल है।'

फ्रोजन के दौरान नाइट्रोजन के इस्तेमाल से ऑक्सिजन को घटाकर देने पर वैज्ञानिकों ने पाया इससे ऐसे स्टेम सेलों का प्रतिशत 40 फीसदी तक ज्यादा बढ़ जाता है जिन्हें वीर्यकोष में डालने पर वे सामान्य शुक्राणु बनाने में सक्षम होते है।

ऐसे में रेडिएशन या कीमोथरेपी का इलाज करवाने से युवा या व्यस्कों में फर्टिलिटी खत्म होने के डर नहीं रहेगा। ये उनकी फर्टिलिटी को सुरक्षित रखेगी।