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शरीर को लचीला और फिट रखने में मददगार है ये योग आसन

अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस हर साल 21 जून को मनाया जाता है। योग दिवस मनाने का मकसद योग से दीर्घ आयु प्रदान करना है।

Updated on: 20 Jun 2017, 11:26 PM

नई दिल्ली:

अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस हर साल 21 जून को मनाया जाता है। योग दिवस मनाने का मकसद योग से दीर्घ आयु प्रदान करना है। योग भारतीय ज्ञान की पांच हजार वर्ष पुरानी शैली है। योगासन को कसरत या व्यायाम कहना गलत है। योग न सिर्फ मांसपेशियों को मजबूत करता है, बल्कि यह तनाव और अन्य शारीरिक समस्याओं को भी दूर करता है। लगातार नियमित रूप से आसान करने से शरीर में लचीलापन बना रहता है शारीरिक लचीलेपन से आंतरिक ऊर्जा तथा स्फूर्ति बढ़ती है, मन शांत रहता है।

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ताड़आसन
ताड़आसन

ताड़आसन शरीर को हल्का और जोड़ों को ढीला करने में बहुत बड़ी भूमिका निभाता है। यह योगाभ्यास आपको चुस्त दुरुस्त ही नहीं करता बल्कि आपके शरीर को सुडौल एवं खूबसूरती प्रदान करता है। यह शरीर में जमा फालतू चर्बी को घटने में मदद करता है।

ब्रह्म मुद्रा आसन
ब्रह्म मुद्रा आसन

योग में अवसाद के उपचार के लिए ब्रह्म मुद्रा आसन बहुत कारगर योगासन है। इसके नियमित अभ्यास से न सिर्फ डिप्रेशन या तनाव से मुक्ति मिलती है बल्कि मानसिक व शारीरिक समस्याओं का भी निदान होता है। नियमित अभ्यास से गर्दन की मांसपेशियां लचीली होती हैं और स्पों‌डिलाइटिस नहीं होता।

धनुषआसन
धनुषआसन

इस आसन का नाम उसे अपनी धनुष के आकार की वजह से मिला है। इसे धनु-आसन के नाम से जाना जाता है। रीढ़ की हड्डी क़ो लचीला बनता है और तनाव के साथ साथ थकान से निजाद देता है। छाती,कंधों और गर्दन की जकड़न से ये आसन मुक्ति दिलाता है।

त्रिकोण आसन
त्रिकोण आसन

त्रिकोण आसन का अभ्यास खड़ा रहकर किया जाता है। यह आसन पैरों, घुटनों, एड़ियों, हाथों को मजबूत बनाता है। यह आसन नितम्बों, कूल्हों, जंघा की मांसपेशियों, कंधों को मजबूत करता है। इसे करने से रीढ़ की हड्डी में और ज्यादा लचीलापन उतपन्न करता है। तनाव, चिंता, पीठ के दर्द के कष्टों को दूर करता है।