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राजीव गांधी को चुनाव के आखिरी चरण में क्‍यों ले आए, पीएम नरेंद्र मोदी ने ये बताया

कांग्रेस के अध्‍यक्ष महोदय ने एक इंटरव्‍यू में बोला था कि हमारी पूरी रणनीति मोदी की छवि तोड़ने की है, मोदी की छवि खत्‍म किए बगैर हमारी राजनीति नहीं हो सकती. इसलिए ये सब हम कर रहे हैं

Updated on: 11 May 2019, 08:43 PM

नई दिल्ली:

इस हफ्ते देश के पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी को लेकर पीएम नरेंद्र मोदी के बयानों को लेकर खासी गहमागहमी रही. पीएम मोदी पर इसे लेकर सवाल उठने लगे कि एक मृत व्‍यक्‍ति को चुनाव में घसीटना कहां तक जायज है. न्‍यूज नेशन को दिए इंटरव्‍यू में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पूरी डिटेल में इसकी पृष्‍ठभूमि बताई. पीएम मोदी ने बताया कि आखिर क्‍यों उन्‍हें राजीव गांधी को लाने के लिए क्‍यों मजबूर होना पड़ा? 
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, "कांग्रेस के अध्‍यक्ष महोदय ने एक इंटरव्‍यू में बोला था कि हमारी पूरी रणनीति मोदी की छवि तोड़ने की है. मोदी की छवि खत्‍म किए बगैर हमारी राजनीति नहीं हो सकती. इसलिए ये सब हम कर रहे हैं.  

मोदी की छवि को कैसे भी धूमिल किया जाए- पीएम मोदी

अगले दिन झारखंड में मेरी रैली थी. मैंने खबर पढ़ी तो मुझे बहुत अजीब लगा. मुझे आश्‍चर्य हुआ कि एक पार्टी की रणनीति इस पर केंद्रित है कि एक मोदी की छवि को कैसे भी धूमिल किया जाए. मेरी 45 साल की जो छवि बनी है, लुटियन पत्रकारों ने बड़े-बड़े फोटो छापकर मेरी छवि नहीं बनाई, लेकिन इस देश के पूर्व प्रधानमंत्री को इसी लुटियन पत्रकारों ने मिस्‍टर क्‍लीन बनाया था, लेकिन जाते-जाते वे क्‍या लेवल लेकर गए. 

क्‍या सेना मोदी की पर्सनल संपत्‍ति है

आईएनएस विराट की बात क्‍यों उठाई, के जवाब में पीएम मोदी बोले, कांग्रेस अध्‍यक्ष ने यह बात कही कि क्‍या सेना मोदी की पर्सनल संपत्‍ति है? फिर मैंने उनके इस आरोप के जवाब में देश को बताया कि कैसे पर्सनल संपत्‍ति के रूप में आईएनएस विराट का उपयोग किया गया. उसके बाद उनके साथी आ गए..... हुआ तो हुआ. फिर वे फंस गए." प्रधानमंत्री ने कहा, छवि उनकी खराब होती है, जो अखबारों में छपकर आगे बढ़ते हैं. धूल फांककर आगे बढ़ने वालों की छवि खराब नहीं होती. 

रातोंरात अमेरिका भिजवा दिया

मैंने कहा, भोपाल में जो गैसकांड हुआ और 2800 लोग मारे गए थे और मिस्‍टर एंडरसन को स्‍टेट प्‍लेन से दिल्‍ली लाए, रातोंरात अमेरिका भिजवा दिया. इसलिए मैंने कहा कि भोपाल, दिल्‍ली और पंजाब में राजीव गांधी के सम्‍मान पर चुनाव लड़िए. मैं अपमानित करता हूं तो आप तो कम से कम सम्‍मान में सामने आइए. 

मोदी का 45 साल का राजनीतिक जीवन एक तपस्‍या से गुजरा 

नरेंद्र मोदी का 45 साल का राजनीतिक जीवन एक तपस्‍या से गुजरा हुआ है. किसी अखबार वाले ने या टीवी वाले ने मोदी के पक्ष में बड़ी-बड़ी बातें लिख करके टीवी पर शो करके मोदी को नहीं बनाया. जो अखबार के पन्‍नों पर पैदा होते हैं, उनकी उमर भी अखबार जितनी ही होती है, जो टीवी स्‍क्रीन पर जन्‍म लेते हैं, उनकी मर्यादा उस टीवी शो तक ही रहती है. जो तपस्‍या करके निकलता है, उसकी जिंदगी जन्‍मोजन्‍म तक रहती है.

सवा सौ करोड़ देशवासियों के आशीर्वाद के कारण मोदी है

अगर मुझे मीडिया ने बनाया होता तो मीडिया द्वारा बर्बाद हो जाता. आज वो मीडिया के कंधे पर बंदूकें रखकर इतनी गोलियां चला रहे हैं, मेरी जिंदगी छलनी हो जानी चाहिए थी. नहीं हो रही है. उसका मूल कारण है यह किसी की कृपा से नहीं, सवा सौ करोड़ देशवासियों के आशीर्वाद के कारण मोदी है. लुटियन लोगों के कारण मोदी नहीं है, मोदी तो जलता हुआ आया है. इसलिए ये क्‍या कर रहे हैं, उसमें मैं अपना समय बर्बाद नहीं करता. मेरे दिमाग में सवा सौ करोड़ देशवासी होते हैं. उनके सपने होते हैं, उनको पूरा करने का मेरा प्रयास होता है और वही करता हूं.