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#Metoo: आलोक नाथ को मिली जमानत, विंता नंदा ने लगाया था रेप का आरोप

आलोक नाथ टीवी सहित कई हिट फिल्मों में काम कर चुके हैं. उन्हें 'संस्कारी बाबूजी' के नाम से भी जाना जाता है.

Updated on: 05 Jan 2019, 03:56 PM

नई दिल्ली:

#MeToo के आरोपों के तहत राइटर विंता नंदा के रेप केस में फंसे टीवी के 'संस्कारी बापू' आलोक नाथ को दिंदोशी सेसन कोर्ट ने बड़ी राहत देते हुए उन्हें अग्रिम जमानत दे दी है. इस पूरे मामले पर बीते 26 दिसंबर को सुनवाई की गई थी लेकिन फैसला नहीं सुनाया गया था. आलोक नाथ के वकील ने 13 दिसंबर को अग्रिम जमानत की याचिका दायर की थी. जिस पर विंता नंदा की वकील ने विरोध किया था. मामले में हुई बहस के दौरान आलोक नाथ के वकील ने सभी आरोपों को गलत बताया. लेकिन विंता नंदा के वकील ने कहा कि अगर आलोक नाथ पर लगे आरोप सही नहीं हैं तो वो कानून का सामना करने से क्यों डर रहे हैं?

बता दें कि आलोक नाथ टीवी सहित कई हिट फिल्मों में काम कर चुके हैं. उन्हें 'संस्कारी बाबूजी' के नाम से भी जाना जाता है. मीटू के तहत विंता नंदा ने अपने फेसबुक पर लिखा था, "वह एक शराबी, लापरवाह और बुरा शख्स था लेकिन वह उस दशक का टेलीविजन स्टार भी था, इसलिए न केवल उसे उसके बुरे व्यवहार के लिए माफ कर दिया जाता था बल्कि कई लोग उसे और भी ज्यादा बुरा बनने के लिए उकसाते थे." उन्होंने कहा कि उसने शो की मुख्य अभिनेत्री को भी परेशान किया, जो उसमें बिल्कुल दिलचस्पी नहीं दिखाती थी.

19 साल पहले अपने साथ हुए सबसे बुरी घटना का जिक्र करते हुए नंदा ने कहा था कि एक बार वह आलोक नाथ के घर पर हुई पार्टी में शामिल हुईं थीं और वहां से देर रात दो बजे के करीब घर जाने के लिए निकलीं. उनके ड्रिंक में कुछ मिला दिया गया था.

नंदा ने कहा, "मैं घर जाने के लिए खाली सड़क पर पैदल ही चलने लगी . रास्ते में उस शख्स ने गाड़ी रोकी, जो खुद चला रहा था और कहा कि मैं उनकी गाड़ी में बैठ जाऊं, मुझे घर छोड़ देगा. मैं उस पर विश्वास करके गाड़ी में बैठ गई."

नंदा ने कहा, "इसके बाद मुझे बेहोशी सी छाने के चलते हल्का-हल्का याद है. मुझे याद है कि मेरे मुंह में और ज्यादा शराब डाली गई और मेरे साथ काफी हिंसा की गई. अगले दिन जब दोपहर को मैं उठी, तो मैं काफी दर्द में थी. मेरे साथ सिर्फ दुष्कर्म ही नहीं किया गया था बल्कि मुझे मेरे घर ले जाकर मेरे साथ नृशंस व्यवहार किया गया था."

विंता ने कहा, "मैं अपने बिस्तर से उठ नहीं सकी. मैंनै अपने कुछ दोस्तों को इस बारे में बताया लेकिन सभी ने मुझे इस घटना को भूलकर आगे बढ़ने की सलाह दी."

वहीं इस पूरे मामले पर आलोक नाथ ने खुद को निर्दोष बताते हुए मानहानि का केस दाखिल किया था. वहीं सिंटा ने आलोक नाथ को बाहर करने के संबंध में बयान भी जारी किया है.