Birthday Special: कामयाबी हो तो ऐसी, जानिए बस कंडक्टर रहे रजनीकांत कैसे बने 'थलाइवा'
रजनीकांत के करियर की शुरुआत बालाचंदर निर्देशित तमिल फिल्म 'अपूर्वा रागंगाल' से साल 1975 में हुई, फिल्म में रजनीकांत (Rajinikanth) खलनायक बने थे
नई दिल्ली:
Happy Birthday Rajinikanth: सुपरस्टार रजनीकांत (Rajinikanth) आज अपना 70वां जन्मदिन मना रहे हैं. अपने अनोखे अंदाज और बेहतरीन अभिनय से फिल्म जगत में अलग मुकाम हासिल करने वाले रजनीकांत (Rajinikanth) को करोड़ों फैंस हैं. आज ट्विटर पर भी #HappyBirthdaySuperstar और #HBDThalaivarSuperstarRAJINI ट्रेंड कर रहा है.
इतने बड़े सुपरस्टार होने के बावजूद रजनीकांत (Rajinikanth) जमीन से जुड़े हुए हैं. रजनीकांत (Rajinikanth) के फैंस उनको सिर्फ प्यार नहीं करते बल्कि उन्हें पूजते भी हैं. रजनीकांत (Rajinikanth) का जन्म 12 दिसंबर, 1950 को बेंगलुरू में हुआ. उनके असल नाम शिवाजी राव गायकवाड़ है.
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रजनीकांत (Rajinikanth) के पिता रामोजी राव गायकवाड़ एक हवलदार थे. रजनीकांत को अपनी मां जीजाबाई की मौत के बाद एहसास हुआ कि घर की माली हालत ठीक नहीं है. रजनीकांत चार भाई-बहनों में सबसे छोटे थे. परिवार को सहारा देने के लिए रजनीकांत (Rajinikanth) ने कुली का भी काम किया.
इसके बाद बेंगलुरू परिवहन सेवा (बीटीएस) में उन्होंने बस कंडक्टर की नौकरी भी की. एक कंडक्टर के तौर पर भी रजनीकांत (Rajinikanth) का अंदाज निराला था. रजनीकांत अलग तरह से टिकट काटने और सीटी मारने की वजह से यात्रियों और दूसरे बस कंडक्टरों के बीच मशहूर थे. रजनीकांत (Rajinikanth) को हमेशा से ही एक्टिंग करना बहुत पसंद था. इस वजह से रजनीकांत ने अपना काम छोड़कर चेन्नई के अद्यार फिल्म इंस्टीट्यूट में एडमिशन ले लिया. एक नाटक के दौरान मशहूर फिल्म निर्देशक के. बालाचंदर की नजर रजनीकांत पर पड़ी और वो रजनीकांत से इतना प्रभावित हुए कि उन्होंने रजनीकांत (Rajinikanth) को फिल्म का किरदार निभाने का मौका दे दिया.
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रजनीकांत के करियर की शुरुआत बालाचंदर निर्देशित तमिल फिल्म 'अपूर्वा रागंगाल' से साल 1975 में हुई, फिल्म में रजनीकांत (Rajinikanth) खलनायक बने थे. इस फिल्म को राष्ट्रीय पुरस्कार से भी नवाजा गया था. रजनीकांत ने लता के साथ 26 फरवरी, 1981 को आंध्र प्रदेश के तिरुपति मंदिर में सात फेरे लिए. आज रजनीकांत (Rajinikanth) की दो बेटियां हैं- ऐश्वर्या रजनीकांत और सौंदर्या रजनीकांत और उनकी पत्नी लता 'द आश्रम' नाम से एक स्कूल चलाती हैं.
रजनीकांत (Rajinikanth) ने अपने करियर की शुरुआत में तमिल फिल्मों में खलनायक की भूमिकाएं निभाईं. इसके बाद वह अभिनेता की तरह उभरे. तेलुगू फिल्म 'छिलाकाम्मा चेप्पिनडी' (1975) में उन्हें मुख्य अभिनेता की भूमिका मिली. इस फिल्म के बाद रजनीकांत ने कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा. कुछ सालों में ही रजनीकांत तमिल सिनेमा के सुपरस्टार बन गए.
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रजनीकांत (Rajinikanth) ने कई बॉलीवुड फिल्मों में भी काम किया है. फिल्म 'मेरी अदालत', 'जान जॉनी जनार्दन', 'भगवान दादा', 'दोस्ती दुश्मनी', 'इंसाफ कौन करेगा', 'असली नकली', 'हम', 'खून का कर्ज', 'क्रांतिकारी', 'अंधा कानून', 'चालबाज', जैसी हिंदी फिल्मों में रजनीकांत का शानदार अभिनय देखने को मिला. रजनीकांत (Rajinikanth) को साल 2000 में पद्मभूषण से सम्मानित किया गया.
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