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पश्चिम बंगाल में जमीन मालिक मुकरा तो अमित शाह को रद्द करनी पड़ी रैली, जानें क्यों

बीजेपी के अध्यक्ष अमित शाह (Amit Shah) की पश्चिम बंगाल के जादवपुर जिले के बारुईपुर में सोमवार को होने वाली रैली रद्द हो गई है.

Updated on: 13 May 2019, 05:42 PM

नई दिल्ली:

भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के अध्यक्ष अमित शाह (Amit Shah) की पश्चिम बंगाल के जादवपुर जिले के बारुईपुर में सोमवार को होने वाली रैली रद्द हो गई है. पार्टी के एक प्रवक्ता ने बताया कि यहां रैली के लिए किराए पर दी गई जमीन के मालिक ने आयोजन के लिए दी अपनी सहमति वापस ले ली, जिसके चलते रैली को रद्द करना पड़ा.

बीजेपी के एक प्रवक्ता ने कहा, अपरिहार्य परिस्थितियों की वजह से बारुईपुर में रैली रद्द हो गई. इस जमीन को रैली और हेलीपैड बनाने के लिए किराए पर लिया गया था. अमित शाह बारुईपुर के अलावा दक्षिण 24 परगना के कैनिंग और उत्तर 24 परगना के राजारहाट में भी जनसभाएं करने वाले थे. अन्य दो बैठकों के कार्यक्रम में कोई बदलाव नहीं किया गया है.

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एक सूत्र ने अपनी पहचान न बताने के शर्त पर कहा कि जमीन का मालिक जिसने रैली और हैलीपेड बनाने के लिए जमीन किराए पर दी थी, उसने यह कहकर अपनी सहमति वापस ले ली कि इस जमीन को पहले ही रैली का आयोजन करने के लिए किसी और राजनीतिक दल को किराए पर दे दिया गया था. हालांकि, भाजपा ने आरोप लगाया है कि ममता बनर्जी के नेतृत्व वाली तृणमूल सरकार की निरंकुशता के कारण उन्हें बैठक रद्द करने के लिए मजबूर होना पड़ा.

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पार्टी ने अपने ट्विटर अकांउट पर पोस्ट किया, ममता बनर्जी बंगाल में निरंकुशता चला रही हैं. आज अमित शाह जादवपुर (बारुईपुर, यादवपुर लोकसभा क्षेत्र में है) में एक रैली करने वाले थे, जिसके लिए 4-5 दिन पहले अनुमति ले ली गई थी. उस वक्त हमें आशा दी गई थी, लेकिन कल (रविवार) अचानक रात के साढ़े आठ बजे मना कर दिया गया. पोस्ट में कहा गया, यह लोकतंत्र की हत्या है चुनाव आयोग को इसके खिलाफ कारवाई करनी चाहिए.

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पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने कहा, जिलाधिकारी साफ तौर पर तृणमूल के इशारे पर काम कर रहे हैं. उन्होंने पहले हिचकिचाते हुए रैली के लिए मंजूरी दी और आखिरकार पिछली रात को इस मंजूरी को खारिज कर दिया. हेलीकॉप्टर के उतरने की अनुमति भी पहले दी गई थी और इसे भी वापस ले लिया गया. उन्होंने अधिकारियों पर चुनाव आयोग के निर्देश का पालन न करने का आरोप लगाया. कैलाश विजयवर्गीय ने आगे कहा, वह अपने पद पर बने रहने लायक नहीं हैं और अगर वह अपने पद पर रहे तो चुनाव स्वतंत्र रूप से और अच्छे से नहीं हो पाएगा. हम आयोग के सामने इस मुद्दे को उठाएंगे.