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कांग्रेस ने पीएम मोदी पर साधा निशाना, कहा ये टिप्पणियां चुनाव हारने के डर से प्रेरित हैं

पवन खेड़ा बोले देश पर अपना जीवन कुर्बान करने वाले' राजीव गांधी पर हमला करने खातिर खुद शर्मिदा होना चाहिए

Updated on: 05 May 2019, 11:55 PM

नई दिल्ली:

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बयान में राजीव गांधी के लिए 'भ्रष्ट नेता' शब्द आने पर अगले दिन रविवार को कांग्रेस ने चुनावी फायदे के लिए पूर्व प्रधानमंत्री पर निशाना साधने को लेकर मोदी को 'बीमार व्यक्ति' और 'मनोरोगी' जैसे शब्दों से नवाजा. कांग्रेस प्रवक्ता पवन खेड़ा ने यहां संवाददाताओं को संबोधित करते हुए कहा कि मोदी की ये टिप्पणियां चुनाव हारने के डर से प्रेरित हैं. उन्हें 'देश पर अपना जीवन कुर्बान करने वाले' राजीव गांधी पर हमला करने खातिर खुद शर्मिदा होना चाहिए.

उन्होंने कहा, "आप एक सिलसिलेवार गाली देने वाले की तरह आचरण कर रहे हैं, आप एक बीमार आदमी की तरह व्यवहार कर रहे हैं और आप एक मनोरोगी जैसा व्यवहार कर रहे हैं. खेड़ा ने कहा कि इस तरह गालियों का इस्तेमाल देश के सांस्कृतिक मूल्यों के खिलाफ है और लोग मोदी को माफ नहीं करेंगे. मोदी ने शनिवार को उत्तर प्रदेश के प्रतापगढ़ में एक रैली में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए कहा था, "आपके पिता को उनके दरबारियों द्वारा 'मिस्टर क्लीन' कहा गया, लेकिन उनके जीवन का अंत 'भ्रष्टाचारी नंबर 1' के रूप में हुआ.

मोदी की यह टिप्पणी उन पर कांग्रेस प्रमुख के लगातार हमले की प्रतिक्रया में आई. राहुल राफेल जेट सौदे में कथित भ्रष्टाचार को लेकर उन पर आक्षेप करते रहे हैं. राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने एक बयान में कहा, "यह स्पष्ट है कि भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार को केंद्र में दूसरा मौका नहीं मिलेगा, और इन सभी बयानों से स्पष्ट है कि पार्टी हताश है और हर रोज नीचता के नए निचले स्तर पर उतरना चाहती है. 

केरल से कांग्रेस सांसद के.सी. वेणुगोपाल ने राजीव गांधी को मोदी द्वारा 'भ्रष्टाचारी' कहे जाने को 'घिनौना' बयान करार दिया और कहा कि इससे प्रधानमंत्री पद की गरिमा गिर गई. इसके लिए मोदी को माफी मांगनी चाहिए. उन्होंने कहा, "प्रधानमंत्री और भाजपा के अन्य नेताओं की तरफ से एक के बाद एक लगातार झूठी बातें कर बदनाम किया जाना और चरित्रहनन किया जाना बहुत आहत करने वाला आचरण है. इन पर कोई कार्रवाई करने में निर्वाचन आयोग विफल है. वेणुगोपाल ने कहा कि बोफोर्स रक्षा सौदा मामले में राजीव गांधी को दिल्ली उच्च न्यायालय ने 2005 में और सर्वोच्च न्यायालय ने 2018 में क्लीन चिट दी थी.