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3 हजार में तमंचा और 5 हजार में राइफल, मेरठ में पकड़ा गया अवैध हथियारों का कारखाना

उत्तर प्रदेश के मेरठ में अवैध हथियारों की फैक्ट्री का भंडाफोड़ हुआ है. क्राइम ब्रांच और सर्विलांस टीमों ने मिलकर अवैध हथियार बनाने की एक बड़ी फैक्ट्री पर छापा मारा.

Updated on: 29 Sep 2019, 09:59 AM

मेरठ:

उत्तर प्रदेश के मेरठ में अवैध हथियारों की फैक्ट्री का भंडाफोड़ हुआ है. क्राइम ब्रांच और सर्विलांस टीमों ने मिलकर अवैध हथियार बनाने की एक बड़ी फैक्ट्री पर छापा मारा. मौके से भारी मात्रा में बने और अधबने हथियारों के साथ अन्य सामान भी बरामद किया गया है. इसके अलावा पुलिस ने 5 आरोपियों को भी गिरफ्तार किया है. हालांकि हथियारों का सौदागर राशिद उर्फ सद्दीक अभी पुलिस की गिरफ्त से दूर है. फिलहाल पुलिस आगे की कार्रवाई में जुटी हुई है.

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पुलिस के मुताबिक, मेरठ में एक घर के अंदर अवैध हथियार बनाने का गोरखधंधा चल रहा था. दो सालों से इस फैक्ट्री में अवैध हथियार बनाए जा रहे थे. शुक्रवार को छापामार कार्रवाई में वहां से पांच आरोपियों को दबोचकर कई हथियार और हथियार बनाने के उपकरण बरामद किए गए हैं.

पुलिस पूछताछ में आरोपियों ने कई खुलासे किए हैं. अवैध हथियार बनाने से लेकर उनकी सप्लाई तक राज आरोपियों ने खोला है. फैक्ट्री संचालक राशिद उर्फ सद्दीक हापुड़ के अनूपपुर ढिबाई का रहने वाला है. पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि राशिद ही हथियार बनाने का सामान मुहैया कराता था. सप्लाई करने की जिम्मेदारी भी उसके पास ही थी.

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पुलिस के मुताबिक, राशिद का गैंग मेरठ समेत राज्य के कई जिलों में फैला हुआ है. यह गैंग देहाती इलाकों में अवैध हथियारों की ज्यादा सप्लाई करता था. तमंचे को डेढ़ हजार और राइफल को तीन हजार रुपये में बनाकर तैयार किया जाता था. जबकि तमंचे को 3 हजार रुपये और रायफल को 5 हजार रुपये में बेचा जाता था. मुंगेर के रहने वाले एक कारीगर ने इन आरोपियों को हथियार बनाने का काम सिखाया था.