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रेस्तरां में खाना होगा सस्ता!, GoM ने 12% GST की सिफारिश की

अभी 1 करोड़ रुपये तक के टर्नओवर वाले मैन्युफैक्चरर्स को 2 प्रतिशत और रेस्तराओं को 5 प्रतिशत कंपोजिशन स्कीम के तहत जीएसटी देना पड़ता है। ट्रेडर्स 1 फीसदी टैक्स चुकाते हैं।

Updated on: 30 Oct 2017, 09:16 AM

highlights

  • GoM ने मैन्युफैक्चरर्स, ट्रेडर और रेस्तराओं के लिए टैक्स दरों में कमी कर 1 प्रतिशत रखने का सुझाव दिया
  • AC रेस्तरां को इनपुट क्रेडिट के साथ जीएसटी दर 18 प्रतिशत से घटाकर 12 प्रतिशत करने की सिफारिश की गई

नई दिल्ली:

रेस्तरां में खाने का शौक रखते हैं तो आपको जल्द थोड़ी राहत मिल सकती है। वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) कंपोजिशन स्कीम के लिए गठित मंत्रियों के समूह (GoM) ने मैन्युफैक्चरर्स, ट्रेडर और रेस्तराओं के लिए टैक्स दरों में कमी कर 1 प्रतिशत रखने का सुझाव दिया है।

अभी 1 करोड़ रुपये तक के टर्नओवर वाले मैन्युफैक्चरर्स को 2 प्रतिशत और रेस्तराओं को 5 प्रतिशत कंपोजिशन स्कीम के तहत जीएसटी देना पड़ता है। ट्रेडर्स 1 फीसदी टैक्स चुकाते हैं।

GoM ने कंपोजिशन स्कीम का दायरा 1 करोड़ से बढ़ाकर 1.5 करोड़ रुपये किये जाने की भी वकालत की है। जीओएम का कहना है कि इंडस्ट्री में जॉब वर्क करने वालों को भी कंपोजिशन स्कीम का फायदा मिलना चाहिए।

साथ ही AC रेस्तरां को इनपुट क्रेडिट के साथ जीएसटी दर 18 प्रतिशत से घटाकर 12 प्रतिशत करने की सिफारिश की गई है।

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फिलहाल गैर-एसी रेस्तरां में भोजन पर 12 फीसदी जीएसटी लागू होता है, वहीं जिनके पास शराब परोसने का लाइसेंस है, वहां यह दर 18 फीसदी है, जबकि पांच सितारा होटलों पर 28 फीसदी जीएसटी लगाया गया है।

GoM अपनी सभी सिफारिशें जीएसटी काउंसिल को भेजेगी जिस पर अंतिम फैसला 10 नवंबर को गुवाहाटी में होने वाली बैठक में होगा।

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