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तमिलनाडु के मुख्यमंत्री ओ पन्नीरसेलेवम ने कहा, 1-2 दिन में अध्यादेश आ जाएगा

तमिलनाडु में जल्लीकट्टू के समर्थन में जारी व्यापक विरोध-प्रदर्शन के बीच राज्य के मुख्यमंत्री ओ. पन्नीरसेल्वम ने शुक्रवार को कहा कि उनकी सरकार बैल को काबू करने के इस परंपरागत खेल को मंजूरी देने के लिए अध्यादेश लाएगी।

Updated on: 20 Jan 2017, 02:53 PM

नई दिल्ली:

तमिलनाडु में जल्लीकट्टू के समर्थन में जारी व्यापक विरोध-प्रदर्शन के बीच राज्य के मुख्यमंत्री ओ. पन्नीरसेल्वम ने शुक्रवार को कहा कि उनकी सरकार बैल को काबू करने के इस परंपरागत खेल को मंजूरी देने के लिए अध्यादेश लाएगी। पन्नीरसेल्वम ने कहा कि उन्होंने इस बारे में संविधान विशेषज्ञों से विस्तृत विचार-विमर्श किया है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार पशु क्रूरता रोकथाम अधिनियम के कुछ प्रावधानों में संशोधन करेगी। संशोधन का मसौदा गुरुवार को तैयार किया गया और इसे शुक्रवार सुबह केंद्र सरकार के पास भेजा गया। अध्यादेश राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी को भेजा जाएगा। राष्ट्रपति की मंजूरी के बाद इसे तमिलनाडु के राज्यपाल सी. विद्यासागर राव को भेजा जाएगा।

मुख्यमंत्री ने तमिलनाडु में जल्लीकट्टू के समर्थन में प्रदर्शन कर रहे लोगों से अपना आंदोलन समाप्त करने की अपील की है।

आज सूबह क्या AIDMK के नेता गृहमंत्री राजनाथ सिंह से मिले। राजनाथ सिंह ने सभी नेताओं को भरोसा दिलाया कि जल्द इस मसले का कोई सामाधान लाया जाएगा।

इधर सर्वोच्च न्यायालय शुक्रवार को इस मुद्दे पर फैसला एक सप्ताह तक टालने के लिए राजी हो गया। सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश न्यायमूर्ति दीपक मिश्रा की अध्यक्षता वाली पीठ ने यह रजामंदी महान्यायवादी मुकुल रोहतगी की इस दलील पर दी कि राज्य में 'सांस्कृतिक भावनाएं' उफान पर हैं।