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Buddhism : जानें बौद्ध धर्म की क्या है 10 विशेषताएं

Buddhism : बौद्ध धर्म एक प्रमुख धर्म है जो गौतम बुद्ध के उपदेशों और आदर्शों पर आधारित है. यह धर्म भारत की एक प्रमुख आध्यात्मिक परंपरा है और उसका महत्वपूर्ण अंग है. बौद्ध धर्म के अनुयायी बुद्ध के उपदेशों को मानते हैं और उनके अनुसार ...

Updated on: 02 Feb 2024, 11:00 AM

नई दिल्ली :

Buddhism : बौद्ध धर्म एक प्रमुख धर्म है जो गौतम बुद्ध के उपदेशों और आदर्शों पर आधारित है. यह धर्म भारत की एक प्रमुख आध्यात्मिक परंपरा है और उसका महत्वपूर्ण अंग है. बौद्ध धर्म के अनुयायी बुद्ध के उपदेशों को मानते हैं और उनके अनुसार अपने जीवन को चलाते हैं. इस धर्म में अहिंसा, दया, शांति, और संगठन के मूल्यों को महत्व दिया जाता है. बौद्ध धर्म में ध्यान, अनियंत्रित इच्छा के नियंत्रण, और सम्यक्त्व को प्रमुख माना जाता है. यह धर्म विश्व में व्यापक रूप से प्रचलित है और अनेक लोग इसके अनुयायी हैं जो इसके उपदेशों का अनुसरण करते हैं. बौद्ध धर्म में बोधिचित्त का महत्वाकांक्षी स्थान है, जो जागरूकता और सत्य के प्रति प्रेरित करता है. ध्यान, मुद्रा, और ध्यान के उपाय बौद्ध धर्म के चतुर्वेदी आर्यास्ताविर के रूप में जाने जाते हैं, जो आध्यात्मिक विकास को प्रोत्साहित करते हैं. अहिंसा का महत्वाकांक्षी सिद्धांत है, जो सभी जीवों के प्रति दया और सम्मान को प्रोत्साहित करता है. बौद्ध धर्म में सम्यक्त्व का महत्वपूर्ण सिद्धांत है, जो सही ज्ञान, सही आचरण, और सही जीवन की प्राप्ति को प्रोत्साहित करता है. जो आत्म-संयम और स्वयं के साथ एकाग्रता को प्रेरित करता है. बौद्ध धर्म में साधारणतः सद्भावना, विवेक, और धर्ममय जीवन के प्रति प्रेरित किया जाता है, जो समृद्धि और सहजता का प्रमुख अंश है.

बौद्ध धर्म की 10 विशेषताएं

अहिंसा का सिद्धांत: बौद्ध धर्म में अहिंसा का महत्वाकांक्षी सिद्धांत है, जो सभी जीवों के प्रति दया और सम्मान को प्रोत्साहित करता है.

बोधिचित्त: बौद्ध धर्म में बोधिचित्त का महत्वाकांक्षी स्थान है, जो जागरूकता और सत्य के प्रति प्रेरित करता है.

चतुर्वेदी आर्यास्ताविर: बौद्ध धर्म में चतुर्वेदी आर्यास्ताविर की आदर्श प्राप्ति के लिए प्रयास किया जाता है, जिसमें ज्ञान, ध्यान, मुद्रा और ध्यान शामिल हैं.

अनात्मवाद: बौद्ध धर्म में अनात्मवाद का महत्वपूर्ण सिद्धांत है, जो आत्मा की अभिव्यक्ति को अवगत करता है.

धर्मचक्र: धर्मचक्र के प्रतीक के रूप में बौद्ध धर्म में धर्म के परिप्रेक्ष्य में स्थिति को प्रस्तुत किया गया है, जो धर्मीय साधना और आध्यात्मिक विकास की संज्ञा करता है.

ध्यान और विचार: बौद्ध धर्म में ध्यान और विचार का महत्वाकांक्षी स्थान है, जो आत्म-संयम और स्वयं के साथ एकाग्रता को प्रोत्साहित करता है.

सम्यक्त्व: बौद्ध धर्म में सम्यक्त्व का महत्वाकांक्षी धारणा है, जो सही ज्ञान, सही आचरण, और सही जीवन की प्राप्ति को प्रमोट करता है.

ध्यान और उपयोग: बौद्ध धर्म में ध्यान और उपयोग की आदर्श प्राप्ति को प्रोत्साहित किया जाता है, जो आत्म-संयम और स्वयं के साथ एकाग्रता को प्रेरित करता है.

सहनशीलता: बौद्ध धर्म में सहनशीलता का महत्वाकांक्षी सिद्धांत है, जो समस्त स्त्री-पुरुष के प्रति सहिष्णुता और दयालुता को प्रोत्साहित करता है.

प्रज्ञापर्मिता: बौद्ध धर्म में प्रज्ञापर्मिता की महत्वाकांक्षी भूमिका है, जो सर्वत्र प्राप्तियों का अवगत होना और समझने को प्रेरित करता है.