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महिला हॉकी विश्व कप: करो या मरो के बीच भारत और अमेरिका के बीच मुकाबला आज

भारतीय महिला हॉकी टीम आज विश्व कप के अपने आखिरी ग्रुप मैच में अमेरिका से भिड़ेगी। भारत को अगर अगले दौर में जगह बनानी है तो उसे अमेरिका के खिलाफ हर हाल में जीत चाहिए।

Updated on: 29 Jul 2018, 01:18 PM

लंदन:

भारतीय महिला हॉकी टीम आज विश्व कप के अपने आखिरी ग्रुप मैच में अमेरिका से भिड़ेगी। भारत को अगर अगले दौर में जगह बनानी है तो उसे अमेरिका के खिलाफ हर हाल में जीत चाहिए।

हालांकि सिर्फ इस मैच में जीत उसे अगले दौर में नहीं पहुंचा सकती। इसके लिए भारत को आयरलैंड और इंग्लैंड के बीच होने वाले मैच के परिणाम पर निर्भर रहना होगा।

पूल-बी में आयरलैंड दो मैचों में दो जीत के दम पर छह अंकों के साथ पहले स्थान पर बना हुआ है। वहीं दूसरे स्थान पर इंग्लैंड है जिसने भारत और अमेरिका दोनों से ड्रॉ खेल दो अंक अर्जित किए हैं।

वहीं भारत और अमेरिका के एक-एक अंक हैं, लेकिन गोल अंतर बेहतर होने के कारण भारत तीसरे स्थान पर कायम है। अगर भारत अपने आखिरी मैच में अमेरिका को हरा देता है तो तीन अंक लेकर उसके कुल चार अंक हो जाएंगे। ऐसे में उसे दुआ करनी होगी कि इंग्लैंड अपने आखिरी मैच में हार जाए या ड्रॉ खेले।

इस विश्व कप में भारत का एक मजबूत पक्ष डिफेंस रहा है उसे हालांकि न तो मिडफील्ड न ही फॉरवर्ड लाइन से समर्थन मिला। कमी संयोजन में तालमेल की थी जिसे कोच शुअर्ड मरेन ने बखूबी देखा होगा और कोशिश करेंगे कि आने वाले मैच में तालमेल बेहतर रहे।

भारतीय टीम की दूसरी कमी पेनाल्टी कॉर्नर को न बदलने की है। रानी की कप्तानी वाली टीम के लिए फॉरवर्ड लाइन की स्थिति को सुधारना बेहद जरूरी है। खुद रानी को इसके लिए आगे रहकर काम करना होगा। फॉरवर्ड लाइन के लिए यह भी जरूरी है कि वो मिडफील्ड के साथ रहकर काम करे।

भारत के विपक्षी को देखा जाए तो वो रैंकिंग में काफी पीछे है। भारत की रैंकिंग पांच है जबकि अमेरिका की 27वीं, लेकिन खेल में रैंकिंग महत्व मायने नहीं रखती वो भी तब जब 10वीं रैंकिंग वाली आयरलैंड से भारत को हार मिली हो।

अमेरिका भी इस मैच में बढ़े हुए आत्मविश्वास के साथ आ रही है। उसने सातवीं रैंकिंग वाली इंग्लैंड को अपने पिछले मैच में 1-1 से ड्रॉ पर बाध्य कर दिया था। ऐसी स्थिति में भारत अमेरिका को हल्के में नहीं ले सकता।

टीम:

भारत:

गोलकीपर : सविता (उप-कप्तान), रजनी एतिमारपू।

डिफेंडर : दीप ग्रेस इक्का, सुनीता लाकड़ा, दीपिका, गुरजीत कौर, रीना खोखर।

मिडफील्डर : नमिता टोप्पो, लिलिमा मिंज, मोनिका, उदिता, निक्की प्रधान, नेहा गोयल।

फॉरवर्ड : रानी (कप्तान), वंदना कटारिया, लालरेमसियामी, नवनीत कौर, नवजोत कौर।

अमेरिका:

गोलकीपर : ब्लाजिंग लॉरेन, ब्रिग्स जैकी।

गोंजालेज मेलिसा (कप्तान), मैटसन एरिन, फी स्टेफनी, विटेसे मिशेल, विटमेर जिल, मागाडान अमांडा, होफमैन एश्ले, यंग जुलिया, मोयेर लॉरेन, फ्रोडे अली, वुड्स निकोल, विटेसे तारा, शार्की खातलीन, पाओलिनो माग्वाक्स, वान सिक्ले काइटलीन, मानले एलिसा।

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