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महाराष्ट्र में रेजिडेंट डॉक्टर की हड़ताल का छठा दिन, सरकारी अस्पतालों में काम ठप, मरीज परेशान

बॉम्बे हाई कोर्ट के निर्देश के बावजूद रेजिडेंट डॉक्टर के काम पर नहीं लौटने के कारण मरीजों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। अपनी सुरक्षा को लेकर डॉक्टर्स हड़ताल कर रहे हैं।

Updated on: 24 Mar 2017, 12:04 PM

नई दिल्ली:

बॉम्बे हाई कोर्ट के निर्देश के बावजूद रेजिडेंट डॉक्टर के काम पर नहीं लौटने के कारण मरीजों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। अपनी सुरक्षा को लेकर डॉक्टर्स हड़ताल कर रहे हैं।

गुरुवार को बॉम्बे हाई कोर्ट ने निर्देश दिया था कि हड़ताल कर रहे डॉक्टर्स को वापस काम पर लौटने का निर्देश दिया और साथ ही राज्य सरकार को भी निर्देश दिया कि उन्हें पूरी सुरक्षा मुहैया कराई जाए।

मरीजों के रिश्तेदारों की तरफ से डॉक्टरों पर होने वाले हमले के विरोध में डॉक्टर्स ने हड़ताल की है। इस समय मुंबई के 15 हजार डॉक्टरों सहित महाराष्ट्र के करीब 45 हजार डॉक्टर काम पर नहीं आए।

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अपने आदेश में अदालत ने कहा है कि एक मरीज के साथ दो ही लोग अस्पताल आ सकते हैं।

बाम्बे हाई कोर्ट अब इस मामले की सुनवाई 15 दिन बाद करेगा।

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डॉक्टरों ने राज्य सरकार से अपनी सुरक्षा के लिये लिखित में आश्वासन की मांग की है। यही वजह है कि डॉक्टर अदालत के आदेश और मुख्यमंत्री फणनवीस के साथ हुई बैठक के बाद भी काम पर नहीं लौटे हैं।

महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने डॉक्टरों को सुरक्षा देने का आश्वासन दिया है और काम पर लौटने की अपील की है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जयप्रकाश नड्डा ने भी सभी रेजिडेंट डॉक्टरों से काम पर लौटने की अपील की।

रेजिडेंट डॉक्टरों की हड़ताल को इंडियन मेडिकल एसोसिएशन ने भी समर्थन दे दिया है। हड़ताल से स्वास्थ्य सेवाएं बुरी तरह प्रभावित हो रही हैं।

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